Move to Jagran APP

अग्निकांड : दहकी आग तो दरक गई दीवारें और गिर गई छत

चौक घंटाघर स्थित नेहरू काम्‍पलेक्‍स में लगी भीषण आग से लाखों का नुकसान हुआ है। आग से दीवारें दरक गईं और छत भी गिर गई थी। मशक्‍कत के बाद अग्निकांड पर काबू पाया जा सका।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Published: Sun, 10 Feb 2019 01:16 PM (IST)Updated: Sun, 10 Feb 2019 01:16 PM (IST)
अग्निकांड : दहकी आग तो दरक गई दीवारें और गिर गई छत
अग्निकांड : दहकी आग तो दरक गई दीवारें और गिर गई छत

प्रयागराज : नेहरू शॉपिंग कॉम्पलेक्स में लगी भीषण आग जब दहकी तो दीवारें दरक गईं और छत भी गिर गई। इससे दूसरे दुकानदार घबराकर इधर-उधर भागने लगे। विकराल होती आग देख आसपास के कारोबारी भी अपनी-अपनी दुकानें बंद कर राहत और बचाव कार्य में कूद पड़े। कॉम्पलेक्स के दुकानदार सामान हटाने में भी जुटे रहे।

loksabha election banner

  ऊंची बिल्डिंग से निकलने वाला धुआं और आग की लपटें देख जीरो रोड समेत दूसरे रास्ते से गुजरने वाले लोग भी सहम उठे। आग बुझाने में दिक्कत न हो इसके लिए आनन-फानन जरूरी स्थानों पर बेरिकेडिंग लगाकर रूट डायवर्ट कर दिया गया। आग को बुझाने के लिए करीब 25 दमकल बुलाए गए। सेना के दमकल का भी पानी खत्म हो गया तो नगर निगम से हाइड्रोलिक लैडर मंगवाए गए। इसके बाद फायर ब्रिगेड की पाइप लेकर फायरमैन लैडर के जरिए किसी तरह आग बुझाने के लिए जिद्दोजहद करते रहे। एडीजी एसएन साबत, आइजी मोहित अग्रवाल, एसएसपी नितिन तिवारी, डीएम सुहास एलवाई और एसपी सिटी बृजेश श्रीवास्तव समेत कई सीओ व थानेदार भी जल्द आग बुझाने, लोगों को समझाने में जुटे रहे।

15 दुकानें व गोदाम में रखा सामान खाक

कोतवाली थाना क्षेत्र के चौक घंटाघर इलाके में स्थित नेहरू काम्पलेक्स बिल्डिंग की ऊपरी मंजिल में शनिवार को आग लग गई थी। आग से 15 दुकानों व गोदामों में रखा लाखों का सामान खाक हो गया था। वहीं 12 दुकानदारों को सकुशल बाहर निकाल लिया गया था। चार मंजिला इस बिल्डिंग में अधिकांश प्लास्टिक के खिलौने, बैग, पिचकारी आदि की दुकानें हैं। भीषण आग को बुझाने के लिए करीब दो दर्जन दमकल की गाडिय़ां लगी थीं। इसमें सेना की भी फायर ब्रिगेड शामिल थी। मशक्कत के बाद आग पर रात में काबू पाया जा सका।

होजरील खराब, टैंक था खाली

शॉपिंग कॉम्पलेक्स तो प्रयागराज विकास प्राधिकरण का है, लेकिन यहां आग बुझाने के लिए जरूरी इंतजाम नहीं थे। मुख्य अग्निशमन अधिकारी रविंद्र शंकर मिश्रा का कहना है कि बिल्डिंग का होजरील खराब था और टैंक में पानी नहीं था। संसाधन सही होने पर दुकानदार भी आग बुझा सकते थे। हालांकि बिल्डिंग में आग लगने के बाद भी अग्निशमन विभाग का हाईड्रोलिक मशीन का इस्तेमाल नहीं किया गया है, जबकि करोड़ों रुपये की लागत से उसे खरीदा गया था।

आखिर कैसे लगी बड़ी आग

बिल्डिंग की दुकान व गोदाम में आखिर आग कैसे लगी यह स्पष्ट नहीं हो सका है। सीओ प्रथम रत्नेश सिंह का कहना है कि शार्ट सर्किट से आग लग सकती है। प्रयाग व्यापार मंडल के जिलाध्यक्ष मो. कादिर ने बताया कि उनके गोदाम में लाइट का कनेक्शन नहीं था। वहीं कुछ कारोबारियों का कहना था कि सफाई के बाद किसी ने दुकान के बाहर की कचरे का ढेर लगवा दिया था।

पहले भी हो चुकी है घटना 

शनिवार से पहले भी इसी बिल्डिंग में कई बार आग लग चुकी है। इससे कारोबारियों को काफी नुकसान हुआ था। व्यापरियों का कहना है कि करीब 15 बार बिल्डिंग के उसी हिस्से में आग लगी, जहां शनिवार को घटना हुई।

आग की प्रमुख घटनाएं

- धूमनगंज में एक ही परिवार के तीन लोग जिंदा जले।

- मोहम्मद अली पार्क में 26 दुकान, चौक में 13 दुकान जली।

- करेली के अबूबकरपुर में आग से 16 लोग जिंदा जले।

- मुट्ठीगंज में सिलिंडर फटने से पांच की मौत हुई थी।

- कीडगंज में एक ही परिवार के छह लोगों की मौत हुई।

- चौक के सब्जी मंडी में दो बच्चों समेत तीन की मौत हुई।

- मुंडेरा में बिस्किट फैक्ट्री आग से तीन लोगों की मौत हुई।

- खुल्दाबाद में किराना दुकान में आग से दंपती की मौत हुई।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.