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यहां ठहरे थे कैश वैन से डेढ़ करोड़ की चोरी करने वाले शातिर अपराधी Prayagraj News

इलाहाबाद जंक्‍शन के सिविल लाइंस के बाहर खड़ी कैश वैन से एक करोड़ 54 लाख रुपये से भरा बक्शा गायब हो गया था। पता चला है कि शातिर अपराधी शहर के कई मोहल्‍लों में ठहरे थे।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Published: Sun, 06 Oct 2019 09:08 AM (IST)Updated: Sun, 06 Oct 2019 09:08 AM (IST)
यहां ठहरे थे कैश वैन से डेढ़ करोड़ की चोरी करने वाले शातिर अपराधी Prayagraj News

प्रयागराज, जेएनएन। कैश वैन से डेढ़ करोड़ रुपये से अधिक की चोरी करने वाले शातिर बदमाश करेली, कीडगंज और तेलियरगंज इलाके में ठहरे थे। अभियुक्तों की तफ्तीश में जुटी पुलिस को शनिवार की रात में इसके बारे में जानकारी हुई। अब पुलिस यह पता लगा रही है कि चोरों ने किसके-किसके घर में किराए पर कमरा लिया था। संबंधित थाने की पुलिस संभावित मुहल्ले और मकान मालिकों से पूछताछ कर रही है लेकिन कोई खास जानकारी नहीं मिल सकी।

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पुलिस ने अभियुक्तों का सीसीटीवी फुटेज विभिन्न प्रदेशों में भेजा है

पुलिस ने सभी अभियुक्तों के सीसीटीवी फुटेज को भी पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र की पुलिस को भेजा है। मुखबिर और स्थानीय मददगार तक पहुंचने के लिए पुलिस की एक टीम फाफामऊ में डेरा जमाए हुए है। क्राइम ब्रांच और स्वॉट टीम ने रात को करेली के हड्डी गोदाम, कीडगंज में धरिकार बस्ती और तेलियरगंज में टीबी कॉलोनी के आसपास रहने वालों लोगों को बदमाशों की सीसीटीवी फुटेज दिखाकर पूछताछ की। साथ ही यूको बैंक के चोर और कुंभ मेले के दौरान पकड़े गए दूसरे प्रदेश के बदमाशों ने जिनके घर में किराए का कमरा लिया था, उनसे भी सवाल जवाब किया।

चालक ने दूसरे के मोबाइल से किया था पुलिस को फोन

रुपये भरा बक्सा गायब होने के बाद कैश वैन के चालक राजकुमार मिश्रा ने खुद की बजाय दूसरे के मोबाइल से पुलिस को फोन किया था। उसने ऐसा क्यों किया। इसका भी सही जवाब वह नहीं दे पा रहा है। पुलिस को पूछताछ में उसने जो झूठी कहानी पुलिस के सामने बयां की थी, उससे भी पुलिस को संदेह हो रहा है। लिहाजा प्रतापगढ़ में रहने वाले उसके करीबियों व दोस्तों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है। इस पूरे मामले में भले ही अंतरराज्यीय गिरोह का हाथ हो, लेकिन कंपनी के कर्मचारियों की मिलीभगत से पुलिस इन्कार नहीं कर रही है।

ङ्क्षहदी में ही बातचीत कर रहे थे शातिर चोर

शातिर चोर यहां के लोगों से हिंदी में ही बातचीत करते थे, जबकि आपस में दूसरी भाषा में बात करते थे। कैश वैन के चालक राजकुमार से भी ङ्क्षहदी में फ्लेटफार्म के बारे में पूछा था। जबकि टेंपो चालक से भी ङ्क्षहदी में बात करते हुए वाहन तेज गति से चलाने के लिए कह रहे थे। ऐसे में पुलिस यह मान रही है कि शातिर चोर ङ्क्षहदी भाषी क्षेत्र में कई साल तक रहे होंगे। फिलहाल पुलिस बदमाशों से जुड़े हर शख्स के बारे में छानबीन कर रही है।

जंक्शन के बाहर से उठाए गए ई-रिक्शा चालक

सिविल लाइंस पुलिस को किसी ने बताया कि बक्सा लेकर जा रहे शातिर चोर नवाब युसुफ रोड पर रिक्शे में सवार हुए थे। इस पर पुलिस जंक्शन के सिविल लाइंस साइड पहुंची और कई ई-रिक्शा चालकों को उठाकर पूछताछ की। नगर निगम और पत्थर गिरिजा के घर के आसपास फुटपाथ पर रहने वाले लोगों से भी पूछताछ की गई।

समय पर मिलती सूचना तो पकड़ जाते

कैश वैन से रुपयों भरा बक्सा शाम छह बजे से पहले गायब हुआ और पुलिस को खबर करीब 40 मिनट बाद मिली। जब तक पुलिस को जानकारी शातिर चोर फाफामऊ पहुंच चुके थे। ऐसे में पुलिस अधिकारियों का मानना है कि अगर वक्त पर सूचना मिल जाती तो शायद बदमाशों को दबोच लिया जाता। इस गलती के लिए कैश वैन के चालक, कस्टोडियन और गार्ड को जिम्मेदार मान रहे हैं।


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