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मस्जिद व अन्य धार्मिक स्थलों में लाउडस्पीकर पर रोक की फिर उठी मांग, इलाहाबाद हाई कोर्ट में याचिका

हाई कोर्ट में दाखिल याचिका में कहा गया है कि लॉकडाउन के कारण लोग घर पर हैं। आफिस का काम घर से कर रहे हैं। घर से बच्चों की आनलाइन कक्षाएं चल रही हैं। ऐसी स्थिति में दिन में कई बार लाउडस्पीकर के प्रयोग से मानसिक तनाव हो रहा है।

By Umesh TiwariEdited By: Fri, 28 May 2021 12:41 AM (IST)
मस्जिद व अन्य धार्मिक स्थलों में लाउडस्पीकर पर रोक की फिर उठी मांग, इलाहाबाद हाई कोर्ट में याचिका
मस्जिद व अन्य धार्मिक स्थलों में लाउडस्पीकर बजाने पर रोक की मांग को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट में याचिका दाखिल।

प्रयागराज, जेएनएन। मस्जिदों सहित विभिन्न धार्मिक स्थलों में लाउडस्पीकर पर रोक लगाने की मांग को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की गई है। याचिका में कोर्ट से मांग की गई है कि धार्मिक स्थल के आसपास रहने वालों की आपत्ति लेकर मंदिर, मस्जिद, चर्च आदि से ध्वनि प्रदूषण मानक का पालन कराया जाए। बिना अनुमति मानक के विपरीत स्पीकर बजाने को प्रतिबंधित करने के कानून का पालन कराया जाए। याचिका की सुनवाई 28 मई को होगी।

इलाहाबाद हाई कोर्ट में दाखिल आशुतोष कुमार शुक्ल की जनहित याचिका में कहा गया है कि कोविड-19 की दूसरी लहर से कई राज्यों में लगाए गए लॉकडाउन के कारण प्रत्येक नागरिक घर पर हैं। लोग आफिस का काम घर से कर रहे हैं। घर से बच्चों की आनलाइन कक्षाएं चल रही हैं। वकील भी घर से ही वर्चुअल सुनवाई के जरिये मुकदमों में बहस कर रहे हैं। ऐसी स्थिति में दिन में कई बार लाउडस्पीकर के प्रयोग से मानसिक तनाव हो रहा है। इसके कारण लोगों के कार्य में खलल भी पड़ रहा है।

लाउडस्पीकर के दिन और रात में प्रयोग होने से नींद पूरी न होने के कारण बहरापन, उच्च रक्तचाप, अवसाद, चिड़चिड़ापन, थकान, एलर्जी, पाचन संबंधी समस्याएं व मानसिक विकार हो रहा है। पिछले वर्ष एक अन्य जनहित याचिका पर पारित आदेश का हवाला देते हुए अनुपालन सुनिश्चित करने और धार्मिक पाठ या अजान के लिए लाउडस्पीकर के नियमित उपयोग पर प्रतिबंध लगाने का निर्देश दिए जाने की मांग की गई है।