हर बच्चे को लगवाएं मिजिल्स-रुबेला का टीका, प्रतापगढ़ में अभियान 26 से
मिजिल्स-रुबेला का टीका अभिभावक अपने नौ से 15 साल तक के बच्चों को जरूर लगवाएं। इससे बच्चों को खसरे का संक्रमण नहीं होगा।
प्रयागराज : प्रतापगढ़ जिले के हर उस बच्चे को मिजिल्स-रुबेला का टीका लगवाना जरूरी होगा, जिनकी उम्र नौ महीने से लेकर 15 साल तक की है। यह टीका उनको खसरे के संक्रमण से बचाएगा। आमतौर पर लोग खसरा होने पर पूजा-पाठ करते हैं, झाड़-फूंक करवाते हैं। इससे कई बार पीडि़त की मौत तक हो जाती है।
ऐसे संक्रमण और इससे होने वाली मौतों को रोकने के लिए बड़े पैमाने पर टीकाकरण अभियान चलाने की ओर सरकार ने कदम बढ़ाया है। डब्ल्यूएचओ की मदद से यह अभियान भारत सरकार की देखरेख में चलेगा। प्रतापगढ़ में इसकी शुरुआत 26 नवंबर से होगी। इसमें हर बच्चे को टीका लगेगा। अगर पहले चेचक का टीका लगा हुआ हो तो भी इसे लगवाना होगा।
मिजिल्स-रुबेला टीकाकरण अभियान एमआर वैक्सीनेशन के नाम से चलेगा। जिले की आबादी करीब 33 लाख है। इसमें 30 फीसद बच्चे हैं, जो टीकाकरण के दायरे में आएंगे। इसके लिए टीमें बना दी गई हैं। आशा, एनएनएम सहित तीन कर्मी की टीम घर-घर जाएगी और टीका लगाएगी। स्कूलों के बच्चे भी चिह्नित कर लिए गए हैं। बेसिक शिक्षा विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग का भी सहयोग लिया जा रहा है।
वायरल संक्रमण है खसरा :
चेचक, खसरे का संक्रमण वायरल होता है। शरीर पर चकत्ते, लाल दाने, बुखार, शरीर दर्द, कमजोरी के लक्षण मुख्य होते हैं। यह पीडि़त की छींक, थूक से दूसरों में फैलता है। गर्भवती महिला के संक्रमित होने पर गर्भस्थ शिशु तक इसका प्रभाव पहुंच जाता है। वह अपंग पैदा हो सकता है। भारत में 40 से 50 हजार बच्चे हर साल खसरे व चेचक से मरते हैं।
चेचक का संक्रमण रोकने को मिजिल्स के साथ रुबेला की टीका एक ही इंजेक्शन में संयुक्त रूप से लगेगा। अभिभावक अपने बच्चों को इसे जरूर लगवाएं, ताकि वह सुरक्षित रहें।
-डा. एके श्रीवास्तव, सीएमओ।