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सांसद केशरी देवी ने अक्षयवट का किया दर्शन-पूजन, आम लोगों को अभी दर्शन सुलभ नहीं Prayagraj News

पूजन-अर्चन के बाद सांसद केशरी देवी पटेल व जिलाधिकारी ने अक्षयवट का गेट खोला और किले में जाकर अक्षयवट के दर्शन की शुरूआत कर दी है। हालांकि अभी आम लोग दर्शन नहीं कर सकेंगे।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Published: Sun, 01 Dec 2019 03:47 PM (IST)Updated: Sun, 01 Dec 2019 07:59 PM (IST)
सांसद केशरी देवी ने अक्षयवट का किया दर्शन-पूजन, आम लोगों को अभी दर्शन सुलभ नहीं Prayagraj News

प्रयागराज, जेएनएन। गंगा पूजन और अर्चन के बाद फूलपुर की सांसद केशरी देवी पटेल ने रविवार की दोपहर में अक्षयवट का गेट खोला। सांसद के साथ जिलाधिकारी भानुचंद्र गोस्वामी द्वारा फीता काटने के बाद अक्षयवट का गेट खोला गया। सांसद व जिलाधिकारी के साथ ही डीएम की पत्नी ने भी अक्षयवट का दर्शन और पूजन किया। हालांकि अभी आम जनता के लिए अक्षयवट का दर्शन नहीं सुलभ हो सकेगा। पूजन-अर्चन के बाद अक्षयवट का गेट तो खोलकर दर्शन की शुरूआत तो की गई लेकिन बाद में फिर इसे बंद कर दिया गया। यहां स्कैनर लगाने के बाद ही आम लोगों को किले के अंदर स्थित अक्षयवट के दर्शन को सेना जाने देगी।

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किला में पवित्र वट वृक्ष के रास्ते पर श्रद्धालुओं के लिए बिछाया गया कारपेट

संगम तट गंगा पूजन के बाद रविवार दोपहर किला स्थित अक्षयवट का दर्शन की शुरूआत हो चुकी है। सांसद केशरी देवी पटेल, जिलाधिकारी भानुचंद्र गोस्वामी और उनकी पत्नी ने अक्षयवट का पूजन और अर्चन किया। हालांकि इस दौरान सैकड़ों की संख्या में आम जन भी मौजूद थे, जो अक्षयवट का दर्शन करने को लालायित थे। हालांकि सेना ने सुरक्षा के दृष्टिकोण से अभी उन्हें अंदर जाने से रोका है, इससे लोग मायूस भी हुए। लगभग चार माह बाद किले के अंदर पवित्र वट वृक्ष का दर्शन शुरू हुआ है। जुलाई से ही बाढ़ के कारण अक्षयवट के द्वार बंद कर दिए गए थे। आम श्रद्धालुओं के लिए वहां दर्शन-पूजन मना किया गया था। वहां नियुक्त पुजारी ही सुबह और शाम पूजा-पाठ के लिए जाते थे।

एक माह पूर्व जिलाधिकारी ने उच्च स्तरीय टीम गठित की थीअक्षयवट के फिर से दर्शन शुरू कराने के लिए लगभग एक माह पहले जिलाधिकारी भानुचंद्र गोस्वामी ने उच्च स्तरीय टीम गठित की थी। इसमें एडीएम प्रशासन वीएस दुबे, एसपी प्रोटोकाल आशुतोष द्विवेदी, पीडब्ल्यूडी, एमएनएनआइटी, सेना व विद्युत विभाग के उच्चाधिकारी शामिल किए गए थे। टीम ने चार बार मौके पर जाकर निरीक्षण किया और अपनी रिपोर्ट डीएम को दी। एडीएम सिटी अशोक कुमार कनौजिया, मेलाधिकारी, रजनीश कुमार मिश्र और पीडब्ल्यूडी के सहायक अभियंता सत्येंद्र नाथ ने भी निरीक्षण किया था। रिपोर्ट के बाद ही एक दिसंबर से अक्षयवट का दर्शन शुरू कराने का निर्णय लिया गया था। दर्शन सुबह आठ से शाम पांच बजे तक कराया जाएगा। दोपहर में एक घंटे तक दर्शन बंद रहेगा। इसकी सूचना प्रदेश सरकार और रक्षा मंत्रालय के साथ ही पीएमओ को भेज दी गई है।

खास बातें

04 माह बाद शुरू होगा वटवृक्ष का दर्शन, बाढ़ के चलते जुलाई से था बंद

08 घंटे रोज सुबह आठ बजे से शाम पांच बजे तक श्रद्धालु कर सकेंगे दर्शन

1.5 करोड़ श्रद्धालुओं ने कुंभ के दौरान प्राप्त किया था अक्षयवट दर्शन

450 वर्षों से किले में कैद था, पीएम मोदी ने कुंभ के पहले की थी घोषणा

स्कैनर लगने के बाद आम जन कर सकेंगे अक्षयवट का दर्शन

जानकारी मिली है कि सुरक्षा को ध्यान में रखकर अभी आम जन को अक्षयवट का दर्शन करने से रोका गया है। यहां स्कैनर लगाने की कवायद है। स्कैनर लगने के बाद लोग अक्षयवट का दर्शन कर सकेंगे। वहीं किला के अंदर अक्षयवट मार्ग पर कारपेट बिछाया गया है। बिजली की भी व्यवस्था की गई है। एलईडी फिटिंग लगाई गई है। किसी प्रकार की सूचना के लिए साउंड सिस्टम भी लगा दिया गया है। इसी साउंड से ही अक्षयवट दर्शन के दौरान पूरे रास्ते श्रद्धालुओं को पवित्र वटवृक्ष के इतिहास व महत्व के बारे में बताया जाएगा।


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