आप भी जानें, ज्योतिषाचार्य की जुबानी कि New Year 2021 में ग्रह आपके जीवन में क्या प्रभाव डालेंगे
ग्रह नक्षत्र ज्योतिष शोध संस्थान के ज्योतिषाचार्य आशुतोष वार्ष्णेय ने बताया कि नक्षत्रों का राजा पुष्य नक्षत्र है। इस बार नए वर्ष की शुरुआत पुष्य नक्षत्र से हुई है। इसके चलते सभी जातकों में विशेष बदलाव दिखेगा। 2020 की तुलना में 2021 सुखमय होगा।
प्रयागराज, जेएनएन। नए वर्ष 2021 में कैलेंडर बदलने के साथ ही ग्रहों के गृह भी बदल रहे हैं। इसके तमाम दूरगामी परिणाम होंगे। प्रयागराज के ज्योतिषाचार्य नए वर्ष में ग्रहों की स्थिति और उसका जीवन में पड़ने वाले प्रभाव की जानकारी दे रहे हैं। इन ग्रहों के दूरगामी प्रभाव को भी ज्योतिषाचार्य बता रहे हैं। वह कहते हैं कि खासकर गुरु का गृह परिवर्तन सभी जातकों पर सकारात्मक असर डालेगा। शिक्षा के क्षेत्र में नई इबारत लिखी जाएगी। वैश्विक स्तर पर भी भारतीय शिक्षा को पहचान मिलेगी।
ग्रह नक्षत्र ज्योतिष शोध संस्थान के ज्योतिषाचार्य आशुतोष वार्ष्णेय ने बताया कि नक्षत्रों का राजा पुष्य नक्षत्र है। इस बार नए वर्ष की शुरुआत पुष्य नक्षत्र से हुई है। इसके चलते सभी जातकों में विशेष बदलाव दिखेगा। 2020 की तुलना में 2021 सुखमय होगा।
छह अप्रैल को बृहस्पति का होगा गृह परिवर्तन
ज्योतिषाचार्य आशुतोष वार्ष्णेय ने बताया कि वर्तमान में बृहस्पति नीच राशि में है। छह अप्रैल को बृहस्पति नीच राशि से निकलकर कुंभ राशि में प्रवेश करेगा। इसके चलते वैश्विक स्तर पर शिक्षकों और बुद्धिजीवियों का सम्मान होगा। साथ ही शुक्रवार खुशियों का कारक है। नया साल शुक्रवार को शुरू होने से पूरा वर्ष खुशमय बीतेगा।
अप्रैल के बाद कोरोना का असर होगा खत्म
ज्योतिषाचार्य आशुतोष वार्ष्णेय ने बताया कि शनि मजबूत होने के चलते सभी का दुख दूर होगा। शनि संघर्ष के बाद फल देता है। इसके चलते अप्रैल के बाद से कोरोना का असर भी कम हो जाएगा। साथ ही लोगों की इम्यूनिटी पावर बढ़ेगी। हल्की खांसी और जुकाम की ही शिकायत हो सकती है। कोरोना बेअसर हो जाएगा।
शुभ मुहूर्त का था इंतजार
ज्योतिषाचार्य आशुतोष ने बताया कि कई वर्षों बाद पुष्य नक्षत्र में नए साल की शुरुआत हुई। शुक्रवार को सुबह 6:46 पर सूर्य उदय हुआ। इस समय धनु लग्न था। इस शुभ घड़ी का लोगों को इंतजार था। शुक्रवार को वाहनों की खूब खरीदारी की गई। साथ ही भाग्यशाली संतान को जन्म दिया गया। इसके अलावा लोगों में स्थिरता आएगी। किसानों का आंदोलन समाप्त होगा। देश में उत्पादकता बढ़ेगी। साथ ही माफिया और अराजकतत्वों को नुकसान हो सकता है।