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Jagran Impact: नसबंदी में लापरवाही, चार डॉक्टरों पर कार्रवाई, ऐसे हुई जांच Aligarh News

नसबंदी शिविर में 12 महिलाओं को बेहोश कर ऑपरेशन न करने के मामले में चार डॉक्टरों पर कार्रवाई की गई है।

By Sandeep SaxenaEdited By: Published: Sun, 17 Nov 2019 09:59 AM (IST)Updated: Sun, 17 Nov 2019 09:59 AM (IST)
Jagran Impact: नसबंदी में लापरवाही, चार डॉक्टरों पर कार्रवाई, ऐसे हुई जांच  Aligarh News
Jagran Impact: नसबंदी में लापरवाही, चार डॉक्टरों पर कार्रवाई, ऐसे हुई जांच Aligarh News

अलीगढ़ (जेएनएन) : छर्रा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) पर शुक्रवार को नसबंदी शिविर में 12 महिलाओं को बेहोश कर ऑपरेशन न करने के मामले में चार डॉक्टरों पर कार्रवाई की गई है। गलत ऑपरेशन करने वाले सर्जन डॉ. राजेश बंसल के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई करते हुए चार्जशीट शासन को भेजी जा रही है। महिला समेत तीन अन्य डॉक्टरों को नोटिस देकर जवाब मांगा गया है। उनके खिलाफ भी कार्रवाई तय है। एसडीएम व सीएमओ की जांच में सामने आया है कि ऑपरेशन करने पहुंची टीम इसके लिए प्रशिक्षित नहीं थी। इसलिए खराब लेप्रोस्कॉपी का इस्तेमाल किया गया। शनिवार शाम को कलक्ट्रेट में पत्रकारों से बातचीत के दौरान सीडीओ अनुनय झा ने यह जानकारी दी।

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31 महिलाओं ने कराया था पंजीकरण

सीडीओ ने बताया कि एसडीएम कोल अनिरुद्ध प्रताप सिंह व सीएमओ डॉ. एमएल अग्रवाल की जांच में पता चला छर्रा सीएचसी पर नसबंदी शिविर लगाया गया। इसमें 31 महिलाओं ने पंजीकरण कराया। सीएमओ के निर्देश पर डॉ. राजेंद्र बंसल व उनकी टीम ऑपरेशन करने पहुंची। दोपहर दो बजे एनेस्थेस्टिक डॉ. अतुल गोविंद ने एक साथ 12 महिलाओं को एनेस्थीसिया देगर बेहोश कर दिया। शाम साढ़े चार बजे डॉ. राजेंद्र ने पहला ऑपरेशन किया। यह सफल रहा। इसके बाद लेप्रोस्कोपी में खराबी आने से दूसरी महिला का ऑपरेशन गलत हो गया। इससे डॉ. राजेंद्र घबरा गए। उन्होंने चिकित्सा अधीक्षक डॉ. कमल सिंह से मदद मांगी, लेकिन वे नहीं पहुंचे। उन्होंने सीएमओ को सूचना दी। अहम बात यह है कि डॉक्‍टरों की लापरवाही की खबर सबसे पहले दैनिक जागरण ने प्रकाशित की थी।

एक ऑपरेशन हुआ गलत

सीएमओ ने इगलास में ऑपरेशन कर रही टीम को वहां पहुंचने के निर्देश दिए। टीम पहुंची और शाम को सात बजे बाद ऑपरेशन की शुरुआत हुई। कुल 14 ऑपरेशन किए। इनमें 13 सफल रहे। एक महिला का ऑपरेशन गलत हुआ। उसे इलाज के लिए भर्ती किया गया। वह भी अपने घर चली गई है।

कोई प्रशिक्षित नहीं तो कोई गायब

सीडीओ ने बताया कि डीएम के निर्देश पर उन्होंने सीएमओ व एसडीएम कोल को अलग-अलग जांच करने के निर्देश दिए। टीम ने जांच की। जांच में पता चला कि ऑपरेशन करने वाले डॉ. राजेंद्र बंसल इस काम के लिए प्रशिक्षित नहीं थे। खराब होने के बाद भी उन्होंने लेप्रोस्कोपी का प्रयोग किया। उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई चार्जशीट शासन को भेजी जाएगी। सीएचसी की स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. उपासना बिना सूचना के गायब थीं। चिकित्सा अधीक्षक डॉ. कमल सिंह ने सहयोग नहीं किया। डॉ. अतुल गोविंद ने एक साथ 12 महिलाओं को एनेस्थीसिया दे दिया। तीनों डॉक्टरों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। जवाब आने पर आगे की कार्रवाई होगी।

महिला डॉक्टर नहीं थी साथ

शिविर में डॉ. राजेंद्र बंसल के साथ गई टीम में महिला चिकित्सक को लगाया गया था, लेकिन वह बिना सूचना के अनुपस्थित हो गईं। टीम ने बिना महिला चिकित्सक के ऑपरेशन कर दिया।

स्टाफ के भी लिए बयान

छर्रा सीएचसी पर जांच के लिए पहुंचे एसडीएम कोल व सीएमओ के साथ तहसीलदार अतरौली ऊषा सिंह भी थीं। दोनों ने चिकित्सा अधीक्षक डॉ.कमल सिंह, एनेस्थेटिक डॉ.अतुल गोविंद समेत अन्य स्टाफ से पूछताछ की। उन्होंने फोन पर सर्जन डा. राजेंद्र बंसल व डॉ. राम बिहारी से भी पक्ष जाना। अचला नगला निवासी महिला को लेकर पहुंची आशाकर्मी मालती देवी से भी पूछताछ की। पुरुष स्टाफ नर्स देवेश कुमार से पूछताछ करते हुए उसके ड्रेस कोड को देखकर लताड़ लगाई।


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