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बुआ, दादी का नाम लेकर जयंत ने जोड़ा भावनात्मक रिश्ता

उपचुनाव से पहले जाटलैंट में राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व पूर्व सांसद जयंत चौधरी ने यहां के लोगों से अपना भावनात्मक रिश्ता जोड़ा।

By Sandeep SaxenaEdited By: Published: Fri, 20 Sep 2019 09:21 AM (IST)Updated: Fri, 20 Sep 2019 03:07 PM (IST)
बुआ, दादी का नाम लेकर जयंत ने जोड़ा भावनात्मक रिश्ता
बुआ, दादी का नाम लेकर जयंत ने जोड़ा भावनात्मक रिश्ता

अलीगढ़ (जेएनएन)। इगलास  विधानसभा क्षेत्र में उपचुनाव से पहले जाटलैंट में राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व पूर्व सांसद जयंत चौधरी ने यहां के लोगों से अपना भावनात्मक रिश्ता जोड़ा। गांव नगला जगता पर कार्यकर्ता सम्मेलन को संबोधित करते हुए जयंत चौधरी ने कहा कि उनकी बुआ (ज्ञानवती) गुरुग्राम में रहती थीं, लेकिन आखिरी बार तक खैर, इगलास के लोगों की फिकर वो करती थीं। साथ ही कहा कि मेरी दादी गायत्री देवी (पूर्व प्रधानमंत्री चौ. चरण सिंह की पत्नी) का भी यहां से करीबी रिश्ता था। वह यहां से विधायक रहीं।

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इगलास से गहरा नाता

यहां से संबंध इतने गहरे हैं कि मुझे चुनाव की चिंता नहीं है। पिछले चुनावों को याद दिलाते हुए कहा कि हमें पीछे का अफसोस नहीं करना आगे की तरफ देखना है। सवाल यह है कि जो लोग चौधरी चरण सिंह को आदर्श मानते हैं वे लोगों को दूसरों को संगठित करें। इस उम्मीद से यहां आया हूं कि कार्यकर्ता सप्ताह में तीन से चार दिन का समय लोगों को जोडऩे के लिए निकालें जो हमसे अलग हुए हैं।

नौटकी समझने की जरूरत

लोगों से पूछा कि आप किसी प्रत्याशी से जुड़े हुए हो या चौधरी चरण सिंह से तो पब्लिक से आवाज आई आप से। हमें एक दूसरे की जरूरत है। यदि कोई भूलचूक हुई हो, कोई परेशानी रही हो, जिनमें हम आपके काम न आ सकें हों तो हमारे नेता को दोष मत देना, मुझे या चौ. अजीत सिंह को दोष देना। नरेंद्र मोदी की ओर इशारा करते हुए कहा कि बाकी तो फकीर हैं झोला लेकर चल पड़ेगे, हम कहीं जाने वाले नहीं हैं। नोटबंदी कोई नहीं समझ पाया। लोगों की जेब खाली हो गई। बिजली का बिल भारी पड़ रहा है। सबसे महंगी बिजली उत्तर प्रदेश में है। मुख्यमंत्री पर चुटकी लेते हुए कहा कि बाबा जी की बात सुनकर मनोरंजन होता है। चिन्मानंद स्वामी कोई स्वामी नहीं है। भाजपा के विधायकों से रेप पीडि़ता के परिवार के लोग सुरक्षित नहीं हैं। साथ ही कहा कि छाती चीरकर देखोगे तो जयंत है, ईवीएम चीर कर देखोगे तो कोई और है। आखिर में कहा कि यहां की चमचम चुनाव के बाद आकर खाऊंगा।

इन्होंने भी किया संबोधित

सभा को जिलाध्यक्ष रामबहादुर सिंह, पूर्व विधायक गेंदालाल व भगवती प्रसाद सूर्यवंशी, संजीव सूर्यवंशी, अब्दुल्ला शेरवानी, सीपी सिंह धनगर, प्रेम सिंह जाटव, जियाउर्ररहमान, रामवीर सिंह, अमित ठेनुआं, ओमवीर सिंह, मथुरा जिलाध्यक्ष रामरक्ष पौनिया, नरेंद्र सिंह आदि ने भी संबोधित किया।

पार्टी ने नहीं बदला है स्टैैंड

पत्रकारों द्वारा हरित प्रदेश के मुद्दे पर पूछे जाने पर जयंत चौधरी ने कहा कि कहीं न कहीं पहले पब्लिक खड़ी होगी तभी मुद्दा उठ पाएगा। पार्टी ने अपना स्टैैंड नहीं बदला है। चुनाव जीतने के संबंध में कहा कि आर्थिक तंगी से सभी वर्ग परेशान हैं। सरकार ने आलू के निर्यात पर रोक लगा दी। किसान के मुद्दे, बेरोजगारी आदि मुद्दों पर जनता ने वोट किया तो बीजेपी का नामोनिशान मिट जाएगा। राजा महेन्द्र प्रताप के नाम पर विवि की स्थापना पर उन्होंने कहा कि अच्छा है लेकिन उनकी मंशा देखिए। कह रहे हैं अगले बजट में प्रस्ताव रखेंगे, यदि रखना था तो इसी बजट में करते। राजा साहब देश की धरोहर हैं, क्यों नहीं उनकी सरकार उन्हें भारत रत्न से नवाजती। जिन्होंने आजाद भारत की कल्पना की, जिन्होंने एएमयू को जमीन दी क्या वह एएमयू के खिलाफ थे या कोई एएमयू में पढऩे वाला विद्यार्थी राजा के खिलाफ हैैं, नहीं। फालतू की बनावट की बातें की जाती है।


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