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हाथरस में 29 को हो सकता है विद्युत इंजन का ट्रायल

पूर्वोत्तर रेलवे इच्जतनगर डिवीजन की कासगंज-मथुरा रेल लाइन पर जल्द विद्युत इंजन का ट्रायल होगा। इसके ओचई में 25000 वोल्टेज का कंरट भी दौड़ाया जा चुका है। 29 मार्च को ट्रायल संभावित

By Mukesh ChaturvediEdited By: Published: Tue, 26 Mar 2019 10:50 AM (IST)Updated: Tue, 26 Mar 2019 10:50 AM (IST)
हाथरस में 29 को हो सकता है विद्युत इंजन का ट्रायल
हाथरस में 29 को हो सकता है विद्युत इंजन का ट्रायल

हाथरस (जेएनएन)। पूर्वोत्तर रेलवे इच्जतनगर डिवीजन की कासगंज-मथुरा रेल लाइन पर जल्द विद्युत इंजन का ट्रायल होगा। इसके ओचई में 25000 वोल्टेज का कंरट भी दौड़ाया जा चुका है। 29 मार्च को ट्रायल संभावित है। इसकी सुरक्षा से जुड़े सभी पहलुओं पर रेलवे की तकनीकी टीमें जांच कर रही हैं।

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रेलवे अफसरों ने परखी बारीकियां
सोमवार को इरकॉन के ओएचई निरीक्षण यान ने हाथरस से मुरसान व मथुरा छावनी तक ओएचई का लेवल देखा। इरकॉन के फील्ड अफसर आरपी मौर्या व पूर्वोत्तर रेलवे से सीनियर सेक्शन इंजीनियर सिग्नल धीरेंद्र ङ्क्षसह ने ओएचई लेवल के कार्य की प्रगति जानी। एसएसई सिग्नल हाथरस शैलेंद्र यादव, सीनियर टेक्नीशियन यतेंद्र कुमार पांडेय ने भी सिग्नल अपग्रेडिंग से जुड़ी सुरक्षा व्यवस्था देखी। पूरे दिन ओएचई निरीक्षण यान से ओएचई लेवल का कार्य तकनीकी टीम ने किया। रेल अफसरों ने बताया कि इसी माह की अंतिम तारीख में विद्युत इंजन का ट्रायल प्रस्तावित है। संभावित तिथि सूचना मिल चुकी है, जिसको लेकर तैयारियां जारी हैं।

इतनी लागत से हुआ कार्य
कासगंज कानपुर मथुरा रेल लाइन के विद्युतीकरण परियोजना की मूल स्वीकृत लागत 401 करोड़ 39 लाख 69 हजार 522 रुपये हैं। रेल विकास लिमिटेड द्वारा इरकॉन कंपनी की ओर से विद्युतीकरण का कार्य किया गया है। 2020 तक दो चरणों में यह पूरा होना है। पहले चरण में कानपुर के कल्याणपुर रेलवे स्टेशन से मथुरा तक कार्य अंतिम चरण में है। यहां विद्युत ट्रेन दौडऩे के बाद दूसरे चरण में कासगंज से बरेली, पीलीभीत मैलानी लाइन पर विद्युतीकरण का कार्य होगा। मौजूदा स्थिति में ट्रेनें 80 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से दौड़ रहीं है। विद्युतीकरण होने पर ट्रेनें 110 की स्पीड से दौड़ेंगी। इस समय सिर्फ पैसेंजर ट्रेनें ही इस रूट पर हैं।

आधा समय होगा कम
विद्युतीकरण के बाद एक्सप्रेस व सुपरफास्ट ट्रेनें भी दौड़ेंगी। मथुरा से कानपुर तक 308 किलोमीटर तक मौजूदा समय में आठ घंटे लगते हैं, लेकिन विद्युतीकरण के बाद यह सफर चार से पांच घंटे में पूरा होगा। कभी-कभी इससे ज्यादा समय भी लगता था। इससे यात्रियों को बेहद परेशानी का सामना करना पड़ता था।

अतिशीघ्र दौड़ेंगी विद्युत इंजन वाली ट्रेनें
पूर्वोत्तर रेलवे के जनसंपर्क अधिकारी राजेंद्र सिंह ने बताया कि मार्च के अंतिम सप्ताह में ट्रायल होगा। तिथि अभी नहीं आई है। हमारा प्रयास है ट्रायल के बाद अतिशीघ्र यहां विद्युत इंजन से ट्रेनें दौड़ाई जाएं। 


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