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Harduaganj Thermal Project: एस डंपयार्ड से राख के उठान को लेकर ग्रामीणों ने घेरा थाना, परियोजना में जताया विरोध

जवां एस डंपयार्ड से राख के उठान को लेकर नगोला के ग्रामीणों ने एक बार फिर से परियोजना प्रबंधन के खिलाफ अपना आक्रोश व्यक्त कर मोर्चा खोला। लोगों का कहना है कि परियोजना के अधिकारियों द्वारा राख प्रदूषण द्वारा ग्रामीणों के जन स्वास्थ्य से खिलवाड़ किया जा रहा है।

By Sandeep Kumar SaxenaEdited By: Published: Fri, 20 May 2022 01:51 PM (IST)Updated: Fri, 20 May 2022 01:51 PM (IST)
ग्रामीणों ने एक बार फिर से परियोजना प्रबंधन के खिलाफ अपना आक्रोश व्यक्त कर मोर्चा खोला।

अलीगढ़, जागरण संवाददाता। जवां एस डंपयार्ड से राख के उठान को लेकर नगोला के ग्रामीणों ने एक बार फिर से परियोजना प्रबंधन के खिलाफ अपना आक्रोश व्यक्त कर मोर्चा खोला। लोगों का कहना है कि परियोजना के अधिकारियों द्वारा राख प्रदूषण द्वारा ग्रामीणों के जन स्वास्थ्य से खिलवाड़ किया जा रहा है। लोगों में स्वास स्वास जनित वह फेफड़ों की बीमारियां बढ़ रही हैं। साथ ही आंखों में राख पढ़ने से लोगों की आंखें खराब हो रही हैं एवं आए दिन सड़क पर उड़ने वाली राख से वाहन दुघर्टना बढ़ रही हैं।

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यह है मामला

परियोजना प्रबंधन अपनी हटधर्मी के कारण लोगों को परेशान करने पर तुला है। गुरुवार की रात को जब नगोला के ग्रामीणों को मालूम पड़ा कि परियोजना प्रबंधन ने फिर से राख का उठान शुरू करा दिया है तो ग्रामीण रात में ही एस डंपयार्ड पर पहुंच गए व वहां पर राख के डंपरो को रुकवा दिया। इतना ही नहीं लोगों ने अपना आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा कि परियोजना के आला अधिकारी अपनी जेबें भरने के लिए गलत तरीके से राख का उठान करा रहे हैं। इसके लिए टेंडर नहीं दिया गया है। कुछ लोगों को पैसा लेकर राख उठाने की ऐसे ही परमिशन दे दी गई है जो बिना मानक के राख उठा रहे हैं। 

एन जी टी मानक की उड़ा रहे हैं धज्जियां

प्रमुख समाजसेवी व ग्रामीण देवेंद्र राघव उर्फ लालू का कहना है कि राख के उठान में एनजीटी मानक की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। मानक के अनुसार राख को बल्कर जैसी बंद गाड़ियों में ही ले जाया जा सकता है जिससे कि इसके प्रदूषण से किसी को नुकसान ना हो। लेकिन राख उठान करने वाले लोग सारे नियमों को ताक पर रख रहे हैं। परियोजना के अधिकारी भी भ्रष्ट आचरण के चलते अपनी जेबें भर रहे हैं जिन लोगों को राख उठवाई जा रही है 50 टन राख की जगह केवल 5 टन राख दिखाकर बाकी पैसा अपनी जेबों में ठूंस रहे हैं। उन्होंने कहा कि किसी भी कीमत पर जन स्वास्थ्य से खिलवाड़ नहीं होने दिया जाएगा अगर राख का उठान नहीं रोका गया या फिर मानक के अनुसार राख नहीं उठाई गई तो पूरा गांव एवं क्षेत्र के आसपास के ग्रामीण इसके लिए बड़ा आंदोलन करेंगे। आक्रोश व्यक्त करने वाले लोगों में प्रिय बंधु, सचिन शर्मा, अरुण तोमर, मनोज बघेल, रामबाबू, विकास, तेज प्रकाश गोस्वामी,सचिन राघव, अतुल जादौन, विष्णु कुमार, छत्रपाल गिरी,वीरेंद्र राघव, सतीश कुमार, जसवंत सिंह,जान मोहम्मद सहित सैकड़ों लोग थे।


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