गो सेवा मानव जीवन का सबसे बड़ा धर्म : डीएम
गो माता के अंदर देवी-देवताओं का वास होता है गो सेवा से बढ़कर कोई पुनीत कार्य नहीं है।
अलीगढ़ : गो माता के अंदर देवी-देवताओं का वास होता है, गो सेवा से बढ़कर कोई पुनीत कार्य नहीं और न ही कोई धर्म है। जो गो सेवा में लग जाता है, उसे किसी परमार्थ करने की आवश्यकता नहीं पड़ती है। उक्त बातें रविवार को जिलाधिकारी चंद्रभूषण सिंह ने गोपाष्टमी पर्व के उपलक्ष्य में क्षेत्र के गांव ओगर नगला राजू स्थित गो-आश्रय स्थल पर आयोजित कार्यक्रम के दौरान कहीं। उन्होंने कहा कि निराश्रित गोवंश की हम सभी को सेवा करनी चाहिए। बरौली विधायक ठा. दलवीर सिंह ने कहा कि वर्तमान योगी सरकार ने गोवंशों को बचाने के लिए प्रदेश में बड़ी संख्या में गो-आश्रय स्थलों का निर्माण कराया है। उन्होंने कहा कि जब तक गो दूध देती है, तब तक लोग उसकी पूजा करने के साथ ही देख-भाल करते हैं और जहां दूध देना बंद कर देती हैं वहीं उसे निराश्रित कर दिया जाता है, जो कि गलत है। उन्होंने कहा कि गो की महिमा अपार है, इसे शब्दों में नहीं पिरोया जा सकता है। लोग बिना किसी स्वार्थ के गो सेवा करें फल खुद व खुद प्राप्त होगा। कार्यक्रम के दौरान जिलाधिकारी, बरौली विधायक व सीडीओ अनुनय झा ने विधि-विधान के साथ हवन-यज्ञ में आहूति देने के साथ ही गो वंशों को गुड़ व हरा-चारा खिलाकर सेवा की। यहां सीवीओ डॉ. वीपी सिंह, एसडीएम प्रवीण यादव, तहसीलदार रेशमा सहाय, विपिन कुमार सिंह, कुलदीप सिंह, शिवम सिंह, बेबी सिंह प्रधान, प्रमोद कश्यप प्रधान, नाहर सिंह, कालू ठाकुर, रवि ठाकुर, डॉ. विकास कुमार, डॉ. सुबोधकांत, डॉ. ललित कुमार आदि मौजूद रहे। बाद में डीएम व सीडीओ ने हीरापुर स्थित शहीद अजयपाल सिंह गोरक्षा धर्मार्थ समिति की गोशाला में समाजसेवी अचलेश सिंह के साथ गोवंश की पूजा अर्चना के साथ गुड़,चना,पूड़ी हलवा खिलाए। यहां जुगेंद्र सिंह, केके सिंह आदि मौजूद रहे। वहीं कोमला स्थित प्रदेश की पहली पीपी मॉडल गोशाला पर एसडीएम प्रवीण यादव ने प्रबंधक संजीव ढाका के साथ मिलकर गो पूजन किया। कस्बे के श्री कामेश्वर महादेव मंदिर पर भी गोपाष्टमी पर्व पर भजन संध्या तथा गो पूजन कार्यक्रम आयोजित किया गया।