उत्तर प्रदेश से रणजी में खेल सकती हैं दो टीमेंः चेतन चौहान
22 करोड़ से अधिक की आबादी वाले प्रदेश में रणजी के लिए सिर्फ 15 खिलाडिय़ों का चयन किया जाता है। जबकि दिल्ली, गोवा, हरियाणा जैसे छोटे प्रदेश से भी इतने ही खिलाड़ी चयनित किए जाते हैं।
आगरा (जेएनएन)। रणजी में खेलने का सपना देखने वाले युवा क्रिकेटरों के लिए अच्छी खबर है। जल्द ही उत्तर प्रदेश से रणजी में दो टीमें खेल सकती हैं। खेल मंत्री चेतन चौहान ने इसके संकेत दिए हैं। इस संबंध में भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआइ) से बातचीत की जा रही है।
22 करोड़ से अधिक की आबादी वाले प्रदेश में रणजी के लिए सिर्फ 15 खिलाडिय़ों का चयन किया जाता है। जबकि दिल्ली, गोवा, हरियाणा जैसे छोटे प्रदेश से भी इतने ही खिलाड़ी चयनित किए जाते हैं। पिछले काफी समय से प्रदेश से रणजी की दो टीमों को खिलाने की मांग की जा रही थी। गुरुवार को आगरा आए खेल मंत्री चेतन चौहान ने कहा कि उत्तर प्रदेश सबसे अधिक आबादी वाला प्रदेश है।
ऐसे में पूरे प्रदेश से सिर्फ 15 खिलाडिय़ों का चयन प्रदेश के खिलाडिय़ों के साथ न्यायोचित नहीं है। यहां रणजी के लिए कम से कम दो टीमों की जरूरत है। इस संबंध में बीसीसीआइ से बातचीत की जा रही है। इस पर जल्द ही सकारात्मक निर्णय हो सकता है।
नेशनल स्पोट्र्स कोड की गाइड लाइन होंगी लागू : खेलों में पारदर्शिता लाने के लिए केंद्र सरकार ने नेशनल स्पोट्र्स कोड की गाइडलाइन तैयार की हैं। केंद्रीय खेल मंत्री राज्यवर्धन राठौड़ ने सभी राज्यों के मुख्यमंत्री व गर्वनर को पत्र लिखकर स्पोट्र्स कोड को प्रदेश स्तर पर लागू करने की बात कही है।
कोड के मुताबिक खेल संघों में अध्यक्ष अधिकतम 12 वर्ष और सचिव व कोषाध्यक्ष आठ वर्ष से अधिक पद पर रह नहीं सकते हैं। साथ ही, पदाधिकारी की उम्र 70 से अधिक नहीं होनी चाहिए। चेतन चौहान ने कहा कि गाइडलाइन मिलते ही इसे प्रदेश में लागू किया जाएगा।