कामों में ढिलाई पर प्रमुख सचिव पीडब्ल्यूडी को NGT की कड़ी फटकार Agra News
न्यायालय ने पूछा कब तक बनेगी रिंग रोड और सर्विस रोड। जिलाधिकारी की अनुपस्थिति से न्यायालय नाराज अगली तारीख पर तलब।
आगरा, जेएनएन। ब्रज में ऐतिहासिक धरोहरों के संरक्षण को लेकर एनजीटी गंभीर है। ताजा मामले में गोवर्धन में रिंग रोड और सर्विस रोड न बनने पर एनजीटी नाराज है। प्रमुख सचिव लोक निर्माण विभाग को कड़ी फटकार लगाई। कोर्ट में डीएम के उपस्थित न होने पर अगली तारीख पर तलब किया।
राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) में गिरिराज परिक्रमा संरक्षण संस्थान द्वारा दाखिल याचिका पर सुनवाई के दौरान कोर्ट ने उप्र सरकार की तरफ से मौजूद अधिवक्ता पिंकी आनंद से पूछा कि क्या जिलाधिकारी मथुरा कोर्ट में मौजूद हैं? सरकारी अधिवक्ता ने बताया कि कुछ निजी कारणों की वजह से वह उपस्थित नहीं हो सके हैं। इस पर कोर्ट ने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि उनको कोर्ट को पहले से अवगत कराना चाहिए था। न्यायालय ने सरकारी अधिवक्ता को निर्देशित किया कि जिलाधिकारी मथुरा अगली तारीख पर उपस्थित रहें ।
याचिकाकर्ता आनंद गोपाल दास व सत्य प्रकाश मंगल की ओर से मौजूद अधिवक्ता सार्थक चतुर्वेदी ने कोर्ट को गोवर्धन परिक्रमा मार्ग की अव्यवस्थाएं बताईं। इसमें पार्किंग व्यवस्था, सर्विस रोड, रिंग रोड मुख्य थे। इस पर कोर्ट ने प्रदेश सरकार की ओर से मौजूद पीडब्ल्यूडी के प्रमुख सचिव समीर वर्मा से पूछा कि अब तक इन सभी कार्यों पर क्या प्रगति है? जिस पर सचिव समीर वर्मा की तरफ से उचित जवाब न देने पर कोर्ट ने उन्हें फटकार लगाई। कहा कि कोर्ट आने से पहले फाइल को अच्छी तरह पढ़ें। अगली तारीख पर ये बताएं कि सर्विस रोड और रिंग रोड का काम कब तक पूरा होगा। कोर्ट ने सचिव समीर वर्मा को निर्देशित किया कि सरकार गोवर्धन में होने वाले जरूरी कार्यों पर पहले ध्यान दे और उन्हें जल्दी पूरा करे । याचिकाकर्ता के अधिवक्ता सार्थक चतुर्वेदी ने कोर्ट का ध्यान राजस्थान की तरफ कच्ची परिक्रमा में सीमेंटेड टाइल्स की तरफ भी आकर्षित किया। जिस पर कोर्ट ने तत्काल प्रभाव से राजस्थान सरकार को उन टाइल्स को हटाने के निर्देश दिए और सुंदरीकरण के नाम पर फिजूलखर्ची पर रोकथाम को कहा।
न्यायाधीश जस्टिस रघुवेंद्र सिंह राठौर व सत्यवान ङ्क्षसह गब्र्याल ने थाना प्रभारी गोवर्धन लोकेश सिंह भाटी से पूछा कि 26 व 27 अगस्त को घटना के संबंध में आपने जो जवाब दाखिल किया है, उसको आपने अच्छी तरह से समझ लिया है ना? या उसके अलावा भी आप कुछ और कहना चाहते हैं। इस पर एसओ ने कहा कि वह अपनी प्रत्याशित व अप्रत्याशित गलतियों के लिए कोर्ट से माफी मांगते हैं। एनजीटी ने न्यायालय में मौजूद सभी अधिकारियों का संज्ञान लिया। जिसमें पीडब्ल्यूडी के चीफ इंजीनियर दीपक सिंघल, उप जिलाधिकारी राहुल यादव, सीओ वरुण सिंह सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।