भक्तों को मिलेगी राहत, दानघाटी गिरिराजजी के एक नवंबर से खुल सकते हैं कपाट
शुक्रवार को संबंधित न्यायालय में भेंट पूजा का ठेका उठाया जाएगा। गोवर्धन की 21 किमी परिक्रमा में तीन मंदिर दानघाटी मुकुट मुखारविंद और जतीपुरा मुखारविंद प्रसिद्ध हैं। जिनमें दानघाटी मंदिर पर सबसे ज्यादा भक्तों का आवागमन रहता है।
आगरा, जेएनएन। श्रद्धा की बगिया में एक बार फिर भक्ति के पुष्प मुस्कराते नजर आएंगे। ब्रजभूमि के प्रसिद्ध दानघाटी मंदिर के कपाट बंद होने के कारण यहां वीरानगी नजर आती है। लेकिन, अब कोविड-19 के साथ एक नवंबर से मंदिर के कपाट आम श्रद्धालुओं के लिए खुल जाएंगे, तो एक बार फिर दानघाटी गिरिराजजी श्रृंगार धारण कर भक्तों को दर्शन देते नजर आएंगे। इसके लिए शुक्रवार को संबंधित न्यायालय में भेंट पूजा का ठेका उठाया जाएगा। गोवर्धन की 21 किमी परिक्रमा में तीन मंदिर दानघाटी, मुकुट मुखारविंद और जतीपुरा मुखारविंद प्रसिद्ध हैं। जिनमें दानघाटी मंदिर पर सबसे ज्यादा भक्तों का आवागमन रहता है। कोरोना काल में पिछले साढ़े छह महीने से मंदिर के कपाट बंद हैं। मुकुट मुखारबिंद और जतीपुरा मुखारबिंद मंदिर के कपाट पूर्व में आमजन के लिए खोले जा चुके हैं, लेकिन, दानघाटी मंदिर के कपाट अभी बंद थे। मंदिर कर्मी अशोक पुरोहित ने बताया कि मंदिर के कपाट एक नवंबर से खोले जाएंगे। इसके लिए शुक्रवार को भेंट का ठेका संबंधित न्यायालय में उठाया जा रहा है। दानघाटी मंदिर की शाखा लक्ष्मी नारायण मंदिर के कपाट भी इसके साथ खोल दिए जाएंगे। इसके लिए जिलाधिकारी व एसएसपी ने संबंधित न्यायालय को पत्र भी लिखा हैं।