Agra Police Commissionerate: बदलाव का असर, गुंडा एक्ट-गैंगस्टर एक्ट की 800 फाइलों पर कार्रवाई रुकी
Agra Police Commissionerate पुलिस आयुक्त कार्यालय में भेजी जाएंगी सभी फाइलें। डीएम एडीएम सिटी सहित अन्य प्रशासनिक अधिकारियों की कोर्ट और कार्यालय में हैं लंबित। पहले ये सारे कार्य डीएम कार्यालय द्वारा होते थे लेकिन पुलिस कमिश्नर के बाद अब बदलाव हुआ है।
आगरा, जागरण संवाददाता। आगरा में पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू होने के बाद बदलाव का दौर शुरू हो गया है। डीएम, एडीएम सिटी सहित अन्य प्रशासनिक अधिकारियों की कोर्ट में गुंडा एक्ट और गैंगस्टर की 800 फाइलों पर कार्रवाई रुक गई है। इन सभी फाइलों को पुलिस आयुक्त कार्यालय को हस्तांतरित होंगी। फाइलों की सूची तैयार की जा रही है। बदली व्यवस्था के तहत अब सभी फाइलों पर अंतिम निर्णय पुलिस आयुक्त लेंगे।
कोर्ट में अटकीं फाइलें
गुंडा एक्ट और गैंगस्टर एक्ट की कार्रवाई प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा की जाती थी। यह कार्रवाई पुलिस की रिपोर्ट पर होती थी। अंतिम रूप से डीएम की मुहर लगती थी लेकिन पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू होने के बाद नियम में बदलाव हो गया है। अब यह अधिकार पुलिस आयुक्त को मिल गया है।
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डीएम कोर्ट 200, एडीएम सिटी कोर्ट में 194, एडीएम वित्त एवं राजस्व की कोर्ट में 195, एडीएम वित्त एवं राजस्व की कोर्ट में 190 गुंडा एक्ट की फाइलें हैं। कोर्ट में इन सभी का वाद चल रहा है।
इसके अलावा संबंधित प्रशासनिक अधिकारियों के कार्यालय में गैंगस्टर की दो दर्जन फाइलें हैं। यानी कुल 800 फाइलें हैं। इन सभी पर कार्रवाई रोक दी गई है। यह सभी फाइलें पुलिस आयुक्त कार्यालय में भेजी जा रही हैं।
पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू होने के बाद गुंडा एक्ट व गैंगस्टर में कार्रवाई संबंधित अधिकारियों द्वारा की जाएगी। इसे लेकर शासन के आदेश का पालन किया जाएगा। - नवनीत सिंह चहल, डीएम
डीएम ही जारी करेंगे शस्त्र लाइसेंस
पुलिस आयुक्त प्रणाली में शस्त्र लाइसेंस का कार्य डीएम के पास है। ऐसे में पूर्व की तरह ही नए शस्त्र लाइसेंस की जांच होगी। इसके बाद यह जारी होंगे।
धारा 144 की फाइलें भी होंगी हस्तांतरित
पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू होने के बाद धारा 144 की फाइलों को भी हस्तांतरित किया जा रहा है। अभी तक शहरी क्षेत्र में एडीएम सिटी और देहात क्षेत्र में एडीएम प्रशासन द्वारा धारा 144 लागू किया जाता था।
पुलिस जारी करेगी अनुमति
सांस्कृतिक कार्यक्रम हो या फिर धार्मिक कार्यक्रम। इसकी अनुमति अब एडीएम सिटी कार्यालय से जारी नहीं होगी बल्कि यह अनुमति पुलिस द्वारा जारी की जाएगी।