जासं, आगरा : ताजगंज के तोरा चौकी इलाके में पुलिस और एंटी टेरेरिस्ट स्क्वाड (एटीएस) की टीम ने दो महिला समेत पांच बांग्लादेशी को गिरफ्तार कर लिया। आरोपित एक बरातघर के पास झोपड़ी डालकर रह रहे थे। एक महिला के पास पासपोर्ट मिला है। बाकी चार घुसपैठिया हैं। शुक्रवार को एक महिला जिला जेल में बांग्लादेशियों से मुलाकात करने पहुंची थी। जिससे पुलिस को घुसपैठियों का सुराग मिला। आरोपितों को धोखाधड़ी और विदेशी अधिनियम की धारा के तहत जेल भेजा गया है।
सिकंदरा आवास विकास कालोनी सेक्टर 14 में बांग्लादेशियों ने पूरी बस्ती बसा रखी थी। इंटेलीजेंस ब्यूरो और पुलिस की संयुक्त टीम ने छापा मारा था। वहां से 32 बांग्लादेशी घुसपैठियों को गिरफ्तार किया था। इनमें 13 महिलाएं, 15 पुरुष, चार बाल अपचारी एवं आठ बच्चे एक से सात वर्ष की आयु के थे। इन सभी को जेल भेजा गया था। पुलिस उनसे मुलाकात करने वालों पर नजर रख रही थी।
प्रभारी निरीक्षक ताजगंज ने बताया कि जन्नत के पास बांग्लादेशी पासपोर्ट मिला है। वह वीजा पर आई थी। वह शुक्रवार को अपने भाई हसन के अलावा परवेज और रोहिमा से मिलने आयी थी। जिससे पुलिस को सुराग मिला।पुलिस ने तोरा क्षेत्र में बरातघर के पास झोपड़ी में रहने वाले चार बांग्लादेशी घुसपैठिया को गिरफ्तार कर लिया। जन्नत ने बताया कि वह तीन महीने पहले वीजा पर भारत आयी थी।
जन्नत का पति अजीजुर गाजी लंबे समय से आगरा में है। उसने कबाड़ा का काम बंद कर दिया। अब बरातघर और गेस्ट हाउस में सफाई का काम करता है। पुलिस के अनुसार जन्नत बांग्लादेशियों को घुसपैठ कराती है। यहां रहने वाले बांग्लादेशी उसके माध्यम से अपने घरों पर रकम भेजते थे।
ये हुए गिरफ्तार
इब्राहिम शेख निवासी जौसुर बांग्लादेश, अजीजुर गाजी उसकी पत्नी जन्नत आरा, राजू शेख उसकी पत्नी मुक्ता शेख निवासी जिला खुलना बांग्लादेश को गिरफ्तार किया है। मुक्ता शेख के बच्चा भी है। आरोपितों से फर्जी आधार कार्ड, कोविड टीकाकरण का प्रमाण पत्र, चार मोबाइल व जिला जेल में मुलाकात की पर्ची बरामद हुई है।