Agra Metro Rail Project: शासन की हरी झंडी का इंतजार फिर एडीए वसूलेगा मेट्रो सेस
Agra Metro Rail Project मेट्रो ट्रैक के 500 मीटर के दायरे में आएंगे भवन। 50 मीटर के दायरे के भवन स्वामियों को लेनी होगी यूपीएमआरसी से एनओसी। प्राधिकरण ने 1 अप्रैल से वाह्य विकास शुल्क में बढ़ोतरी कर दी है।
आगरा, जागरण संवाददाता। आगरा मेट्रो ट्रैक के 500 मीटर के दायरे में आने वाले भवन स्वामियों से एक बार मेट्रो से वसूला जाएगा । यह नियम सिर्फ नए भवन स्वामियों पर ही लागू होगा। वहीं 50 मीटर के दायरे में आने वाले भवन स्वामियों को उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कॉरपोरेशन से अनापत्ति प्रमाण पत्र लेना होगा। इसके बाद ही वह अपने भवन का निर्माण या फिर मरम्मत करा सकेंगे। आगरा विकास प्राधिकरण यह दोनों प्रस्ताव शासन को भेज दिए हैं । अब हरी झंडी का इंतजार किया जा रहा है।
पिछले सप्ताह आगरा विकास प्राधिकरण की बोर्ड बैठक हुई थी इसमें कई अहम प्रस्ताव पास हुए थे। प्राधिकरण ने 1 अप्रैल से वाह्य विकास शुल्क में बढ़ोतरी कर दी है। यह 1840 के बदले 2040 प्रति वर्ग मीटर हो गया है। प्राधिकरण ने शासन को मेट्रो सेस वसूलने का प्रस्ताव भेजा था। एडीए सचिव राजेंद्र प्रसाद त्रिपाठी ने बताया कि मेट्रो से नए भवन स्वामियों से नक्शा पास कराने के दौरान वसूला जाएगा यह एक बार होगा जो कि वाह्य विकास शुल्क पर 10 फीसद लिया जाएगा।
इसलिए पड़ी मेट्रो सेस की जरूरत
आगरा विकास प्राधिकरण की आर्थिक स्थिति कुछ खास ठीक नहीं है। प्राधिकरण आवास विकास परिषद को 200 करोड़ रुपए देने हैं। यह रुपए उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कॉरपोरेशन को दिए जाएंगे। ऐसे में मेट्रो सेस वसूलने के अलावा अन्य कोई विकल्प नहीं है।
एडीए को होगी आमदनी
एडीए हर साल 500 से 700 के आसपास नक्शे पास करता है। अफसरों को अनुमान है कि मेट्रो सेस से करोड़ों रुपए की आमदनी होगी।