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Cyber Crime in UP: उत्‍तर प्रदेश में साइबर क्राइम का बड़ा जाल, आगरा से शुरू हुआ इस पर वार

एडीजी आगरा जोन राजीव कृष्‍ण के यूट़्यूब चैनल का डीजीपी मुकुल गोयल ने किया उद्घाटन। नेशनल साइबर क्राइम रिपाेर्टिंग पोर्टल पर प्रदेश से 50 हजार शिकायतें हुईं हैं दर्ज। साइबर क्राइम के प्रति जागरूक करने को सेशन में ही जुड़े करीब साढ़े पांच हजार लोग। थानों पर हुआ लाइव प्रसारण।

By Prateek GuptaEdited By: Published: Wed, 04 Aug 2021 08:49 AM (IST)Updated: Wed, 04 Aug 2021 08:49 AM (IST)
साइबर क्राइम पर हुई वर्कशॉप में डीजीीपी मुकुल गोयल, एडीजी आगरा राजीव कृष्‍ण व अन्‍य।

आगरा, जागरण संवाददाता। उत्‍तर प्रदेश में साइबर क्राइम के खिलाफ मुहिम में आगरा रोल माडल बन गया है। उसने प्रदेश के अन्य जिलों के लिए भी नजीर पेश की है। डीजीपी मुकुल गोयल ने एडीजी आगरा जोन के यूट्यूब चैनल का उद्घाटन किया है। वह फाइनेंशियल फ्राड के तरीके और व बचाव को लेकर आयोजित वेबीनार के एक घंटे के सेशन में भी शामिल हुए।

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एडीजी आगरा जोन राजीव कृष्ण ने दो महीने पहले साइबर क्राइम के खिलाफ जागरूकता मुहिम शुरू की। साइबर पीस फाउंडेशन के साथ मिलकर पहले चरण में जोन के आठ जिलों के 161 थानों के 824 पुलिसकर्मियों को एक महीने का प्रशिक्षण दिया गया। जिससे कि वह थानों पर आने वाले साइबर ठगी के शिकार पीड़ितों की समस्या सुनकर उन्हें समझा सकें। इसके अलावा साइबर अपराध की विवेचना और अपराधी तक पहुंचने के तरीकों की जानकारी दी गई। साइबर विशेषज्ञ रक्षित टंडन इस अभियान में पुलिस के साथ जुड़े हैं।

डीजीपी मुकुल गोयल ने कहा कि साइबर क्राइम की कोई बाउंड्री नहीं होती है। साइबर अपराधी आजकल पेंशनर्स को निशाना बना रहे हैं। उन्होंने लगातार बढ़ रहे साइबर क्राइम के ग्राफ को देखते हुए इस तरह के वृहद अभियान की प्रशंसा करते हुए इसे समय की जरूरत बताया। डीजीपी के अनुसार प्रदेश के थानों में वर्ष 2019 में 10,341 और वर्ष 2020 में 11,772 साइबर क्राइम के मुकदमे दर्ज हैं। इस साल छह महीने के दौरान 5077 साइबर क्राइम के मामले दर्ज हो चुके हैं। वहीं, नेशनल साइबर क्राइम रिपाेर्टिंग पोर्टल (एनसीसीआरपी) पर अब तक उत्तर प्रदेश से 50 हजार शिकायतें दर्ज हुई हैं।

पहले ही सेशन में 5500 लोग जुड़े

साइबर क्राइम के बढ़ते मामलों को देखते हूुए लोग अब उससे बचाव के तरीकों को जानने के लिए उत्सुक हैं। एडीजी आगरा जोन के यूट्यूब चैनल के उद्घाटन के बाद वेबिनार पर फाइनेंशियल फ्राड के तरीके और व उससे बचाव को लेकर एक घंटे का लाइव सेशन हुआ। पहले ही सेशन में इससे 5500 लोग जुड़े। इसमें डीजीपी मुकुल गोयल, एडीजी कानून एवं सुरक्षा प्रशांत कुमार, एडीजी राजीव कृष्ण, आइजी रेंज नवीन अरोड़ा, साइबर पीस फाउंडेशन के मेजर विनीत अरोड़ा समेत सभी जिलों के पुलिस अधिकारी शामिल हुए। सेशन के दौरान लोगों ने साइबर विशेषज्ञ रक्षित टंडन से सवाल भी किए।

इन क्राइम से बचाव के बताए तरीके

फाइनेंशियल फ्राड, यूपीआइ फ्राड, पेटीएम फ्राड, गूगल पे, डेबिट व क्रेडिट कार्ड से धोखाधड़ी, आनलाइन जाब, आनलाइन शादी के विज्ञापन आदि।

थानों और चौकियों में लगाए गए थे प्रोजेक्टर

यूट्यूब चैनल के लाइव प्रसारण के लिए आठों जिलों के थानों और चौकियों पर प्रोजेक्टर लगाए गए थे। जिसमें बड़ी संख्या में लोगों ने लाइव सेशन में हिस्सा लिया।

महत्वपूर्ण तथ्य

- वर्ष 2016 में लखनऊ और गाजियाबाद में साइबर थानों की स्थापना की गई।

- वर्ष 2020 में 16 रेंज में साइबर थानों की स्थापना की गई।

- 400 साइबर अपराधियाें को गिरफ्तार कर छह करोड़ रुपये बरामद किए गए।

चैनल सिखाएगा डिजीटल साइबर स्पेस में यूजर्स को सुरक्षा के तरीके

एडीजी ने बताया यूट्यूब चैनल का दूसरा सेशन भी जोन के सभी जिलों में एक साथ आयोजित होगा। शेष तीन-तीन लाइव सेशन जिलेवार होंगे। इसमें विशेषज्ञ साइबर क्राइम से बचाव के तरीकों की जानकारी देंगे। जिसमें फाइनेंशियल फ्राड, इंटरनेट मीडिया व सावधानी, साइबर सुरक्षा के साथ ही महिलाओं व बच्चों के प्रति होने वाले साइबर अपराध व उसने बचाव के कानूनी प्रावधानों की जानकारी दी जाएगी। दूसरा लाइव सेशन अब पांच अगस्त को आयोजित किया जाएगा। अभियान के तहत जोन के 30 लाख लोगों को जोड़ने का लक्ष्य रखा गया है। डिजीटल साइबर स्पेस में अपनी निजता की सुरक्षा किस तरह की जाए, इसे जानने के लिए लोग यूट्यूब चैनल से लिंक के माध्यम से जुड़ सकते हैं।


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