Move to Jagran APP

आज है फाल्गुन मास की कालाष्टमी, इस मुहूर्त में करें पूजा और जानें महत्व

Kalashtami हर माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को कालाष्टमी मनाई जाती है। इस दिन भगवान काल भैरव की पूजा की जाती है। मान्यता है अगर आज के दिन पूरे विधि-विधान के साथ काल भैरव की पूजा की जाए तो व्यक्ति की हर मनोकामना पूरी होती है।

By Shilpa SrivastavaEdited By: Published: Fri, 05 Mar 2021 12:00 AM (IST)Updated: Fri, 05 Mar 2021 08:00 AM (IST)
आज है फाल्गुन मास की कालाष्टमी, इस मुहूर्त में करें पूजा और जानें महत्व
आज है फाल्गुन मास की कालाष्टमी, इस मुहूर्त में करें पूजा और जानें महत्व

Kalashtami: हर माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को कालाष्टमी मनाई जाती है। इस दिन भगवान काल भैरव की पूजा की जाती है। मान्यता है अगर आज के दिन पूरे विधि-विधान के साथ काल भैरव की पूजा की जाए तो व्यक्ति की हर मनोकामना पूरी होती है। हिंदू पंचांग के अनुसार, मार्गशीर्ष माह के कृष्ण अष्टमी को काल भैरव प्रकट हुए थे। काल भैरव को भगवान शिव ने प्रकट किया था। ऐसे में हर माह की इस तिथि को कालाष्टमी मनाई जाती है। तो आइए जानते हैं फाल्गुन कालाष्टमी का शुभ मुहूर्त और महत्व।

loksabha election banner

कालाष्टमी का शुभ मुहूर्त:

5 मार्च, शुक्रवार, फाल्गुन कृष्ण पक्ष

फाल्गुन कृष्ण अष्टमी आरंभ- 5 मार्च, शुक्रवार शाम 7 बजकर 54 मिनट से (अष्टमी तिथि 5 मार्च शाम से शुरू हो रही है। ऐसे में कालाष्टमी का व्रत आज रखा जाएगा।)

फाल्गुन कृष्ण अष्टमी समाप्त- 6 मार्च, रविवार शाम 6 बजकर 10 मिनट पर

फाल्गुन कालाष्टमी का महत्व:

कालाष्टमी के दिन रात के समय अगर जागरण किया जाए तो व्यक्ति को शुभ फलों की प्राप्ति होती है। साथ ही व्रत के पुण्य में भी वृद्धि होती है। काल भैरव का वाहन कुत्ता है ऐसे में इस दिन कुत्तों को अगर खाना खिलाया जाए तो यह बेहद शुभ होता है। कहा जाता है कि ऐसा करने से भैरव जी प्रसन्न हो जाते हैं। भक्तों का ऐसा मानना है कि भैरव अष्टमी का व्रत करने से उनके पाप धुल जाएंगे और वे मृत्यु के भय से मुक्त हो जाएंगे। इस दिन सुबह सवेरे उठकर स्नानादि कर व्रत का संकल्प लेना चाहिए। फिर काल भैरव की पूजा करनी चाहिए। इनके साथ भगवान शिव और पार्वती की पूजा भी की जाती है। इस दिन भक्त पूरे दिन का उपवास करते हैं। साथ ही शाम के समय काल भैरव के मंदिर भी जाते हैं।

डिसक्लेमर

'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'  


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.