Motivational: रतन टाटा की नजरों में क्या है प्रशंसा और सम्मान का अंतर
Motivational कहते हैं दो लोग दुनिया पर राज करते हैं। पहला जिसके पास धन है। दूसरा वो जिसके पास सत्ता है। हालांकि ये एक दूसरे के पूरक से ही हैं
Motivational: कहते हैं दो लोग दुनिया पर राज करते हैं। पहला जिसके पास धन है। दूसरा वो जिसके पास सत्ता है। हालांकि ये एक दूसरे के पूरक से ही हैं, जिसके पास धन है वो सत्ता के करीब हो ही जाता है और जिसके पास सत्ता है धन उससे दूर कैसे रह सकता है। कहा तो ये भी गया है कि असल शहंशाह वो है जो दिल का अमीर है। हालांकि ऐसी बातें किताबों, कहानियों में ही सुनने को मिलती है, व्यवहारिक रूप में तो पैसे का बोलबाला रहता ही है। जागरण आध्यात्म में हम आपके लिए लाते हैं रोज कुछ न कुछ सकारात्मक ऊर्जा वाले अनमोल वचन, ताकि आप दिन की कर सकें एक बेहतर शुरुआत।
आज के इस लेख में हम दुनिया के नामी कारोबारियों के कथन आप तक लेकर आए हैं। ये वो लोग हैं जिन्होंने व्यापार कि दुनिया में मिसाल कायम की। जाहिरा तौर पर इनके कथन हमें सफल होने का रास्ता दिखाते हैं। अमेजन के फाउंडर जेफ बेजोज कहते हैं कि मैं जानता था कि अगर मैं फेल हो जाता हूं तो मुझे अफसोस नहीं होगा, लेकिन मैं जनता था कि एक चीज जिसका मुझे अफसोस हो सकता है, वो है प्रयास ना करना।
गूगल के फाउंडर लैरी पेज कहते हैं कि यदि आप दुनिया को बदल रहे हैं, तो आप महत्वपूर्ण बातों पर काम कर रहे हैं, आप सुबह उठने के लिए उत्साहित हैं।
श्रीराम शर्मा का कहना है कि दुनिया का सबसे बड़ा दिवालिया वो है, जिसने अपना उत्साह खो दिया है।रतन टाटा कहते हैं कि अगर किसी व्यक्ति ने सफलता बहुत ही क्रूरता भरे माध्यम से हासिल की है तो मैं उस व्यक्ति की प्रशंसा कर सकता है लेकिन उसका कभी सम्मान नहीं कर सकता। रतन टाटा की ये बात सटीक बैठती है। जरूरी नहीं कि हर सफल आदमी का सम्मान किया जाए। उसकी सफलता की प्रशंसा सम्मान में तभी बदल सकती है जब वो अपने काम के प्रति ईमानदार हो और उसके चयन किए गए रास्ते गलत न हों, देश हित में हो।