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एक दिन और रुकेंगे शंकराचार्य

शंकराचार्यो के महाकुंभ मेला बहिष्कार की चेतावनी देने व उनके प्रतिनिधियों द्वारा मेला क्षेत्र छोड़ देने के बाद देश भर में हुई तीखी प्रतिक्रिया ने अंतत: मेला प्रशासन को झुकने पर मजबूर कर दिया।

By Edited By: Published: Fri, 28 Dec 2012 12:15 PM (IST)Updated: Fri, 28 Dec 2012 12:15 PM (IST)

इलाहाबाद। शंकराचार्यो के महाकुंभ मेला बहिष्कार की चेतावनी देने व उनके प्रतिनिधियों द्वारा मेला क्षेत्र छोड़ देने के बाद देश भर में हुई तीखी प्रतिक्रिया ने अंतत: मेला प्रशासन को झुकने पर मजबूर कर दिया।

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मेलाधिकारी मणि प्रसाद मिश्र शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद के प्रयाग पहुंचने के लगभग 24 घंटे बाद उनसे मिलने पहुंचे। यह अलग बात है कि उनके पास शंकराचार्य को बताने के लिए कोई भी ठोस प्रस्ताव नहीं था।

शंकराचार्य कुंभ क्षेत्र में शंकर चतुष्पथ स्थापित करने की मांग पर अडिग रहे। मेलाधिकारी ने उनसे पुनर्विचार करने की गुजारिश की, लेकिन वह नहीं माने। करीब आधे घंटे तक चली वार्ता अंतत: बिना निष्कर्ष के समाप्त हो हुई। बिना किसी ठोस प्रस्ताव के आने पर शंकराचार्य ने मेलाधिकारी को फटकार भी लगाई। मेलाधिकारी ने उनसे चतुष्पथ पर विचार के लिए समय मांगा। इस पर शंकराचार्य एक दिन और प्रयाग में रुकने को राजी हो गए। अब वह शुक्रवार के बजाय शनिवार को मध्यप्रदेश जाएंगे। मेला प्रशासन के लिए उनका यह निर्णय राहत देने वाला जरूर रहा। गुरुवार की रात लगभग नौ बजे कुंभ मेलाधिकारी मणि प्रसाद मिश्र, एसएसपी कुंभ आरकेएस राठौर मनकामेश्‌र्र्वर मंदिर पहुंचे। उन्होंने शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती से मेला क्षेत्र में वापस चलने की गुजारिश की। इस पर शंकराचार्य ने उनसे कहा कि चतुष्पथ बनवा दो तो हम चल देंगे। मेलाधिकारी ने इस पर उनसे अपनी दिक्कत की दुहाई दी।

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