Lockdown: जयपुर में दो संस्थाएं प्रतिदिन सवा लाख लोगों को करा रहीं हैं भोजन
Coronavirus. लाॅकडाउन के दौरान जरूरतमंद परिवारों को भोजन कराने में जयपुर की दो रसोइयां बड़ी भूमिका निभा रही हैं।
जयपुर, राज्य ब्यूरो। Coronavirus. राजस्थान में कोरोना वायरस के चलते लाॅकडाउन के दौरान जरूरतमंद परिवारों को भोजन कराने में जयपुर की दो रसोइयां बड़ी भूमिका निभा रही हैं। इनमें से एक रसोई राधास्वामी सत्संग द्वारा संचालित है और दूसरी अक्षयपात्र फाउंडेशन चला रहा है। इनमें राधास्वामी सत्संग की रसाई में एक दिन में औसतन 80 से 90 हजार लोगों का खाना बन रहा है, वहीं अक्षयपात्र में 44 हजार लोगों के लिए खाना बनाया जा रहा है।
लाॅकडाउन के बाद हजारों परिवारों के लिए दो समय की रोटी जुटाना भी मुश्किल हो रहा है। जयपुर में तो एक बहुत बड़े हिस्से में र्क्फ्यू भी लगा हुआ है। यही कारण है कि शहर की विभिन्न संस्थाएं और व्यक्ति अपनी अपनी क्षमता के अनुसार जरूरतमंदों तक भोजन पहुंचाने का काम कर रहे हैं। इस क्रम में सबसे बड़ी रसोई जयपुर से कुछ दूरी पर स्थित बीलवा में राधास्वामी सत्संग में चल रही है। यहां सोमवार को 91 हजार लोगों का खाना बनाया गया है।
यहां से जुड़े सेवादार बताते हैं कि गुरु महाराज का आदेश है कि कोई भूखा नहीं सोना चाहिए। बस इसी आदेश को मानते हुए लाॅकडाउन की शुरुआत से ही भोजन तैयार करवा रहे है। शुरुआत में 10-15 हजार लोगों का खाना बना था और अब यह संख्या बढ़ कर 90 हजार तक पहुंच गई है। इस रसोई घर में एक वक्त का खाना पकाने के लिए लगभग 200 लोग एक साथ सुबह चार बजे से काम शुरू करते हैं। बड़े बाॅयलर्स और भट्टियों की सहायता से खाना तैयार किया जाता है। भोजन में रोटी, सब्जी और चावल के साथ ही पानी का पाउच भी दिया जाता है। संस्थान में एक लाख लीटर का आरओ प्लांट लगा हुआ है। इसी से पानी का पाउच तैयार किया जाता है।
सेवादारों ने बताया कि एक वक्त में लगभग दो लाख लोगों का खाना इस रसोई में तैयार किया जा सकता है। तैयार भोजन में से करीब 70 प्रतिशत जिला प्रशासन के सहयोग से वितरित किया जाता है, बाकी जगह संस्था के सेवादार जाते हैं।
दूसरी बड़ी रसोई अक्षय पात्र फाउंडेशन की है। अक्षयपात्र राजस्थान के 13 जिलों में मिड डे मील तैयार करता है। जयपुर के जगतपुरा में इसकी पूरी तरह ऑटोमेटिक रसोई है। इसी रसोई में प्रतिदिन जयपुर के 44 हजार लोगों के लिए खाना तैयार हो रहा है। अन्य जिलों में भी इसी तरह खाना तैयार किया जाता है। इस तरह पूरे प्रदेश में करीब 80 हजार लोगों के लिए खाना तैयार हो रहा है। संस्थान की इस रसोई में रोजाना लगभग दो लाख रोटियां बनाई जा रही हैं। वहीं 11 बायलर में दाल उबाली जाती है। रोटी बनाने वाली मशीन एक घंटे में लगभग 25000 चपाती तैयार करती है। अक्षय पात्र की इस रसोई में सुबह लगभग छह बजे से काम शुरू होता है। खाने में चावल, दाल के अलावा सब्जी दी जाती है। तैयार भोजन के साथ अब अक्षय पात्र ने राशन किट वितरण का काम भी शुरू कर दिया है।