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Rajasthan High court: जोधपुर जिला क्रिकेट संघों की एडहॉक कमेटी के गठन पर रोक

Rajasthan High court. हाईकोर्ट ने जोधपुर जिला क्रिकेट संघों की एडहॉक कमेटी के गठन पर रोक लगा दी है।

By Sachin MishraEdited By: Published: Thu, 22 Aug 2019 05:32 PM (IST)Updated: Thu, 22 Aug 2019 05:32 PM (IST)
Rajasthan High court: जोधपुर जिला क्रिकेट संघों की एडहॉक कमेटी के गठन पर रोक
Rajasthan High court: जोधपुर जिला क्रिकेट संघों की एडहॉक कमेटी के गठन पर रोक

जोधपुर, जेएनएन। राजस्थान हाईकोर्ट ने जोधपुर जिला क्रिकेट संघों को भंग कर बनाई गई एडहॉक कमेटी के गठन के पर रोक लगा दी है। हाईकोर्ट ने कमेटी के गठन को चुनौती देते दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि यह मनमानी नही चल सकती। हाईकोर्ट ने इस मामले पर स्थगन आदेश देकर 12 सितंबर को सुनवाई मुकर्रर की है। जस्टिस दिनेश मेहता ने मौखिक टिप्पणी करते हुए इसे मनमानी कहा है।

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गहलोत विरोधी खेमों की ओर से आरसीए अध्यक्ष पद से सीपी जोशी कार्यकाल खत्म होने के साथ राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बेटे वैभव को आरसीए में लाने के लिए यह कदम उठाना बताया गया है। लेकिन अब कोर्ट से स्टे आने के बाद ये राह आसान होती नजर नही दिखती।

शिकायतकर्ता के अनुसार, जिला क्रिकेट संघ को भंग करने को लेकर पदाधिकारियों को पोस्ट से नोटिस भेजे गए, और बिना उनका पक्ष जाने आनन फानन में ही एडहॉक कमेटी गठन कर गया ।

जोधपुर जिला क्रिकेट एसोसिएशन की ओर से एडहॉक कमेटी के गठन चुनौती देते हुए एडवोकेट विकास बालिया के माध्यम से हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की की गई। इस याचिका में बताया कि साढ़े पांच बजे पदाधिकारियों पोस्टल नोटिस मिला और बिना अधिसूचना जारी किए रात को ही आनन-फानन मे जोधपुर जिला क्रिकेट को भंग कर एडहॉक कमेटी का गठन कर दिया गया। याचिका में बताया कि शिकायत में शिकायतकर्ता का नाम तक नहीं है और क्रिकेट संघों व क्लबों का पक्ष भी नहीं सुना गया।

सूत्रों के अनुसार, जोधपुर में आईपीएल होने की संभावना है। इधर, इस कमेटी में कन्वीनर राजस्थान रॉयल्स के उपाध्यक्ष राजीव खन्ना को बनाया गया है। राजस्थान टीम के पूर्व कप्तान विनोद माथुर के अलावा कई ऐसे लोगों को भी शामिल किया गया, जो कभी जोधपुर क्रिकेट संघ से नहीं जुडे रहे हैं। हाई कोर्ट जस्टिस दिनेश मेहता ने अधिवक्ता की दलीलों से संतुष्ट होते हुए नोटिफिकेशन में नोटिस जारी नहीं करने की बात को गंभीरता से लेते हुए उक्त मामले में स्थगन आदेश पारित करने के साथ ही रजिस्टार और उप रजिस्टार को नोटिस जारी किए हैं।

इसलिए ली अदालत की शरण

आनन-फानन में और राजनीतिक बदनीयती के उद्देश्य से कानून विरुद्ध कार्य किया गया है। सदस्यों को जवाब देने तक का समय नही दिया गया। इस कारण अदालत की शरण ली गई है। कोर्ट ने तथ्यों के आधार इस मामले में स्टे दिया है।

रामप्रकाश चौधरी, सचिव, जोधपुर क्रिकेट एसोसिएशन। 

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