उदयपुरः सीवरेज लाइन में करंट लगने से चार श्रमिकों की मौत
sewer line in Udaipur. राजस्थान के उदयपुर में सीवर लाइन में काम कर रहे चार श्रमिकों करंट लगने से मौत हो गई।
उदयपुर, जेएनएन। शहर के उपनगरीय क्षेत्र में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत निर्माणाधीन सीवरेज लाइन में काम के दौरान करंट लगने से चार श्रमिकों की मौत हो गई। सीवरेज लाइन के ठीक नीचे 11 केवी की इलेक्ट्रिक लाइन जा रही थी और उसमें प्रवाहित करंट के चलते यह हादसा हुआ। हादसे में पहले दो मजदूरों की मौत हुई और उनकी सहायता के लिए नीचे उतरे अन्य दो मजदूर भी करंट की चपेट में आ गए थे। इस घटना के बाद स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट में काम कर रहे श्रमिकों ने शहर भर में जारी काम रोक दिया। उनकी मांग है कि जब तक मृतक श्रमिकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये के मुआवजे की मांग रखी है।
बताया गया कि शहर के उपनगरीय क्षेत्र हिरणमगरी के मनवाखेड़ा में स्मार्टसिटी प्रोजेक्ट के तहत सीवरेज लाइन बिछाने का काम चल रहा था। घटना के समय दो मजदूर सीवरेज लाइन में उतरकर काम कर रहे थे जबकि बाकी मजदूर बाहर थे। दोनों मजदूरों की चीख सुनकर अन्य दो मजदूर सीवरेज लाइन में उतरे लेकिन वह भी बाहर नहीं निकल पाए। जिसके बाद मौके पर अफरा-तफरी का माहौल बन गया। अन्य मजदूरों ने सीवरेज में उतरने की हिम्मत नहीं की।
करंट की आशंका से तत्काल बिजली बंद कराई गई। जिसके आधे घंटे बाद निगम के बचाव दल व श्रमिकों ने सीवरेज से चारों श्रमिकों को बाहर निकाला लेकिन उनकी मौत हो चुकी थी। पुलिस ने चारों शवों को एमबी अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया। जहां मेडिकल बोर्ड की टीम के जरिए पोस्टमार्टम कराया गया। जिसमें चारों की मौत करंट से होना बताया गया। स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के लिए काम कर रहे श्रमिकों का कहना है कि मजदूरों को सुरक्षा के कोई उपकरण नहीं दिए हुए हैं। प्रोजेक्ट कंपनी ने ना तो उन्हें हेलमेट हैं और ना ही उनके पास प्लास्टिक के जूते हैं। इधर, स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट कंपनी ने इस आरोप को निराधार बताया है।
नीचे से गुजर रही है 11 केवी लाइन
जहां सीवरेज लाइन का काम जारी है, ठीक उसके नीचे से 11 केवी की विद्युत लाइन गुजर रही है। लोगों का मानना है कि यदि स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट कंपनी की इनके प्रति अनदेखी मजदूरों की जान पर संकट बन गई। निगम महापौर चंद्रसिंह कोठारी ने घटना को दुखद बताया है। उनका कहना है कि स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट कंपनी श्रमिकों के जरिए मृत श्रमिकों के परिजनों को मुआवजा दिलाया जाएगा।