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राहुल गांधी की वीर सावरकर से तुलना करना वीरों व महापुरूषों का अपमान, डोटासरा मांगें माफी: वासुदेव देवनानी

अजमेर उत्तर के विधायक वासुदेव देवनानी ने कहा कि कांग्रेस और उसके नेताओं ने कभी भी अदालत का सम्मान नहीं किया। यदि कोई अदालत कांग्रेस के हित में फैसला सुनाए तो कांग्रेस नेता कहते हैं कि अदालत ने अच्छा काम किया।

By Jagran NewsEdited By: Anurag GuptaPublished: Fri, 24 Mar 2023 11:46 PM (IST)Updated: Fri, 24 Mar 2023 11:46 PM (IST)
राहुल गांधी की वीर सावरकर से तुलना करना वीरों व महापुरूषों का अपमान, डोटासरा मांगें माफी: वासुदेव देवनानी
राहुल गांधी की वीर सावरकर से तुलना करना वीरों व महापुरूषों का अपमान: वासुदेव देवनानी

अजमेर, राज्य ब्यूरो। पूर्व शिक्षा मंत्री व अजमेर उत्तर के विधायक वासुदेव देवनानी ने कहा कि कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने राहुल गांधी की वीर सावरकर से तुलना कर वीरों और महापुरूषों का अपमान किया है। इसके लिए डोटासरा को देश और प्रदेश की जनता से माफी मांगनी चाहिए।

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देवनानी ने डोटासरा के बयान पर तीखा प्रहार करते हुए कहा कि यह तुलना निहायत बेमानी और घोर निंदनीय है। डोटासरा ने गुरुवार को प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में हुई बैठक में कहा था कि राहुल गांधी कोई सावरकर नहीं हैं, जो माफी मांगें। देवनानी ने कहा कि वीर सावरकर कोई सामान्य व्यक्ति नहीं थे, जो राहुल से उनकी तुलना की जाए। वीर सावरकर को आजीवन कारावास की सजा हुई। देश के लिए उन्होंने अपना पूरा जीवन लगा दिया। वीर सावरकर को काले पानी की सजा दी गई। उनको काल कोठरी में रखा गया।

देवनानी ने कहा कि डोटासरा यह बताएं कि राहुल गांधी और उनके परिवार का देश की आजादी में कबए कौनसा और क्या योगदान रहा। क्या राहुल गांधी कभी जेल गए। उन्होंने कहा कि आजादी के बाद से साठ साल तक कांग्रेस ने राज कर देश को पीछे धकेला। कांग्रेस केवल एक परिवार के भरोसे चली और कांग्रेस के नेता चाटुकार की तरह गांधी परिवार की चाटुकारिता करते रहे और अब भी कर रहे हैं।

देवनानी ने कहा कि कांग्रेस और उसके नेताओं ने कभी भी अदालत का सम्मान नहीं किया। यदि कोई अदालत कांग्रेस के हित में फैसला सुनाए, तो कांग्रेस नेता कहते हैं कि अदालत ने अच्छा काम किया। यदि कांग्रेस के खिलाफ फैसला सुनाए, तो कांग्रेस नेता संवैधानिक मर्यादा को ताक में रखकर अदालत के फैसले की आलोचना करने लग जाते हैं। पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने भी अदालत सम्मान नहीं कर देश में इमरजेंसी लगाई और विरोधी दलों के नेताओं को चुन-चुन कर जेलों में बंद किया। इमरजेंसी की पीड़ा को भी इस देश ने भोगा है।

देवनानी ने कहा कि अब सूरत की अदालत द्वारा राहुल गांधी को दो साल की सजा सुनाने के बाद लोकसभा की सदस्यता खत्म होने पर आंदोलन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस मामले को लेकर कांग्रेस द्वारा जनता के बीच जाने और आंदोलन करने का कोई औचित्य नहीं है। कांग्रेस और उसके नेताओं को लोकसभा अध्यक्ष द्वारा किए गए निर्णय का सम्मान करना चाहिए।


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