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अशोक गहलोत के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के आदेश

जयपुर [नरेन्द्र शर्मा]। जयपुर जिला अपर महानगर मजिस्ट्रेट ने एक सरकारी अस्पताल भवन का कम दामों पर अपन

By Edited By: Published: Thu, 02 Oct 2014 06:11 AM (IST)Updated: Thu, 02 Oct 2014 02:20 AM (IST)

जयपुर [नरेन्द्र शर्मा]। जयपुर जिला अपर महानगर मजिस्ट्रेट ने एक सरकारी अस्पताल भवन का कम दामों पर अपने चहेते चिकित्सक को विक्रय करने के मामले में राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, तत्कालीन उद्योग मंत्री और प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष डॉ. चन्द्रभान, आईएएस अधिकारी एन.सी. गोयल एवं चिकित्सक विमल सोनी के खिलाफ सीआरपीसी की धारा 156 तहत मुकदमा दर्ज करने का आदेश पुलिस को दिया है। जयपुर निवासी सुरेश चन्द्र शर्मा की ओर से कोर्ट में पेश इस्तगासा पर एफआईआर दर्ज कर जांच करने के आदेश जयपुर के गांधी नगर पुलिस थाना को दिए गए है। यह मामला अशोक गहलोत के मुख्यमंत्री के रूप में पहले कार्यकाल का है।

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कोर्ट में पेश इस्तगासा में कहा गया है कि यह अस्पताल भवन सरकार ने बनाया था,लेकिन गहलोत एवं चन्द्रभान ने मिलीभगत कर अपने चहेते एक चिकित्सक डॉ. विमल सोनी को नियमों को ताक में रखकर बेच दिया गया। इस भवन का निर्माण वर्ष 1997 में कराया गया था, इसके लिए जयपुर विकास प्राधिकरण ने चेरिटेबल संस्थाओं के लिए बने नियमों के तहत रियायती दर पर भूमि का आवंटन किया गया था। इस भवन में सरकारी ट्रोमा अस्पताल संचालित होना था, लेकिन 1998 में तत्कालीन अशोक गहलोत सरकार ने सोनी अस्पताल के मालिक डॉ. विमल सोनी को इस भवन का विक्रय मात्र 6 करोड़ रूपए में कर दिया गया,जबकि उस समय इसका बाजार मूल्य 31 करोड़ रूपए होता था।

इस्तगासा में कहा गया है कि नियमों के तहत रियायती दर पर आवंटित भवन अथवा भूमि का बेचान नहीं हो सकता था। लेकिन तत्कालीन गहलोत सरकार ने नियमों के विपरीत जाकर ऐसा किया।


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