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दो माह पहले विवाह करने वाले युवक को मेले में शादीशुदा महिला से हुआ प्यार, दोनों ने जहर निगल दी जान

गांव देऊ निवासी युवक और उसकी प्रेमिका ने जहरीला पदार्थ निगल जान दे दी।

By JagranEdited By: Published: Sat, 21 May 2022 05:00 AM (IST)Updated: Sat, 21 May 2022 05:00 AM (IST)
दो माह पहले विवाह करने वाले युवक को मेले में शादीशुदा महिला से हुआ प्यार, दोनों ने जहर निगल दी जान
दो माह पहले विवाह करने वाले युवक को मेले में शादीशुदा महिला से हुआ प्यार, दोनों ने जहर निगल दी जान

धर्मबीर सिंह मल्हार, तरनतारन: विधानसभा हलका खडूर साहिब के गांव देऊ निवासी युवक कुलविदर सिंह ने शादीशुदा प्रेमिका परमजीत कौर के साथ भागकर दो दिन बिताए और तीसरे दिन दोनों ने गांव के पास आकर जहरीला दवा निगल जान दे दी। थाना गोइंदवाल साहिब की पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजते हुए मामले की जांच शुरू कर दी है। मरने वाले युवक ने दो माह पहले ही विवाह रचाया था। गांव कोटबुड्ढा में मेला देखने के मौके उसके महिला परमजीत कौर महिला के साथ प्रेम संबंध बन गए थे।

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गांव देऊ निवासी कुलदीप की वर्षो पहले मौत हो गई थी। उसकी पत्नी जसबीर कौर ने अपने दो लड़कों कुलविदर सिंह और दविदर सिंह का पालन पोषण किया। कुलविदर जेसीबी चलाता था। उसका गांव मल्ला निवासी युवती के साथ दो माह पहले ही विवाह हुआ था। जेसीबी चलाने के लिए कुलविदर गांव कोटबुड्ढा में गया था। उसी गांव की परमजीत कौर जिसका मोगा जिले के गांव मिद्दा निवासी गुरजीत सिंह के साथ विवाद हुआ था, के साथ कुलविदर से दस मई को प्रेम संबंध बन गए। परमजीत एक बच्चे की मां थी। दस मई को वह मायके गांव मेला देखने आई और पति गुरजीत के साथ 17 मई को वापस ससुराल के लिए रवाना हुई। कस्बा हरिके पत्तन से पति गुरजीत को चकमा देकर वह अपने प्रेमी कुलविदर के साथ भाग गई। कुलविदर अपने किसी दोस्त की कार लेकर आया था। गुरजीत ने थाना हरिके पत्तन में कुलविदर के विरुद्ध शिकायत दी थी।

थाना प्रभारी सब-इंस्पेक्टर हरजीत सिंह ने बताया कि शिकायत पर जब परमजीत कौर और कुलविदर सिंह के मोबाइल काल की डिटेल खंगाली तो लोकेशन अमृतसर में आई। इस दौरान परमजीत ने पति गुरजीत को फोन करके कहा कि उससे गलती हो गई है और वह ससुराल लौटना चाहती है। अमृतसर के एक होटल में दो दिन रहने के बाद कुलविदर और परमजीत अपने दोस्त की कार से वापस गांव देऊ लौट रहे थे। सुबह दस बजे गांव के बाहर पहुंचते ही कुलविदर ने दोस्त को फोन करके कहा कि मुख्य सड़क पर खड़ी अपनी कार ले जाए। फिर गांव की सड़क पर कुलविदर के पारिवारिक सदस्य पहुंचे तो दोनों ने जहरीली वस्तु निगली हुई थी और वे बेहोश थे। गांव के सरपंच सुखविदर सिंह रंधावा ने बताया कि दोनों को सिविल अस्पताल से अमृतसर के अमनदीप अस्पताल ले जाया गया। वहां पर दोनों की दोपहर साढ़े 12 बजे मौत हो गई। मायके और ससुरालियों ने परमजीत का शव नहीं लिया, एनजीओ ने करवाया अंतिम संस्कार

सब डिवीजन गोइंदवाल साहिब के डीएसपी प्रीतइंद्र सिंह ने बताया कि कुलविदर सिंह के भाई दविदर के बयान दर्ज करके धारा-174 के तहत दोनों शवों का सिविल अस्पताल से शुक्रवार को पोस्टमार्टम करवा दिया गया। इसके बाद युवक कुलविदर का गांव के श्मशानघाट में अंतिम संस्कार कर दिया गया जबकि परमजीत कौर के शव को उसके ससुराल और मायके वालों ने लेने से मना कर दिया। इस दौरान गांव देऊ की पंचायत ने भी अंतिम संस्कार से हाथ खड़े कर दिए। बाद में एनजीओ के जरिए परमजीत का अंतिम संस्कार करवा दिया गया।


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