कोरिडोर गुरु के सिखों की अरदास का नतीजा : चंदूमाजरा
आनंदपुर साहिब के तख्त श्री केसगढ़ साहिब में आज सांसद प्रोफेसर प्रेम ¨सह चंदूमाजरा ने माथा टेका।
संवाद सहयोगी, आनंदपुर साहिब : आनंदपुर साहिब के तख्त श्री केसगढ़ साहिब में आज सांसद प्रोफेसर प्रेम ¨सह चंदूमाजरा ने माथा टेका। इस दौरान उन्होंने गुरबाणी कीर्तन भी श्रवण किया। इसके उपरांत उन्होंने शिअद एवं भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ बैठक की। इस मौके प्रेसवार्ता के दौरान सांसद प्रोफेसर प्रेम ¨सह चंदूमाजरा ने करतारपुर कॉरिडोर के संबंध में कहा कि पाकिस्तान तो अपने आप में ही पशोपेश (कन्फ्यूज) में है, फिर चाहे वह पाकिस्तान का प्रधानमंत्री हो या फिर उनके मंत्री हों। जैसे पाकिस्तान के मंत्री कभी कुछ बयान दे रहे हैं तो कभी पाकिस्तान के प्रधानमंत्री और कुछ बोल रहे हैं। जिस प्रकार कैप्टन अम¨रदर ¨सह के मंत्री बागी हो रहे हैं, उसी प्रकार पाकिस्तान के मंत्री भी पशोपश में घूम रहे हैं। लेकिन एक बात तो सच है करतारपुर कॉरिडोर पर जिस किसी ने भी काम किया है, उसका वे स्वागत एवं आभार जताते हैं। इसमें चाहे पाकिस्तान सरकार के इमरान खान हों या फिर भारत सरकार से नरेंद्र मोदी हो। नरेंद्र मोदी ने अपनी कैबिनेट में प्रस्ताव पास किया है और इस मामले को हल करवाया है। वहीं पत्रकारों के सवाल पर नवजोत ¨सह सिद्धू के सहयोग के संबंध में उन्होंने कहा है कि नवजोत ¨सह सिद्धू तो वैसे ही मुंह उठाए घूम रहे हैं। उनकी बात तो पार्टी में कोई नहीं मान रहा और किसी ने भी उनका नाम तक नहीं लिया। इसका सारा श्रेय कैप्टन अम¨रदर ¨सह ने खुद अपने पर लिया है। शिरोमणि अकाली दल का यह मानना है कि करतारपुर कॉरिडोर का जो रास्ता खोलना संभव हो सका है यह गुरु नानक देव जी के सिखों की अरदास के कारण ही संभव हो सका है। उन्होंने कहा कि कांग्रेसियों का अपना कोई जमीर नहीं है। क्या सभी गांधी परिवार के अधीन चलते हैं और आज राहुल गांधी को नवजोत ¨सह सिद्धू की जरूरत पड़ी तो राजस्थान में कैप्टन अम¨रदर ¨सह की अपनी इतनी बड़ी बेइज्जती करवाने के बाद चुप होकर बैठे हैं। उनके वजीर भी अब शांत होकर बैठ गए हैं। जो एक दिन पहले बड़े बड़े बयान दे रहे थे। अब बिल्कुल शांत होकर बैठ गए हैं। क्योंकि सेंटर के एक इशारे से सब कुछ बिल्कुल शांत हो गया है। यह तो कांग्रेस पार्टी का कल्चर है इसमें कोई नई बात नहीं है।
फाइल गुम होने के लिए केजरीवाल सरकार जिम्मेदार: चंदूमाजरा
उन्होंने कहा कि 1984 सिख कत्लेआम के संबंध में 63 फाइलें जो गुम हुई हैं उसके लिए दिल्ली की केजरीवाल सरकार कहीं न कहीं पर जिम्मेदार है। जहां तक हम कह सकते हैं कि मोदी सरकार के आने से करतारपुर कॉरिडोर का रास्ता खुला है और 1984 सिख कत्लेआम के मामले में जो मोदी सरकार ने अपनी जिम्मेदारी निभाई है। उसे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। क्योंकि मोदी साहिब की सरकार में ही 1984 कत्लेआम के मामलों दोबारा खोला गया है। इन मामलों को पहले सीबीआइ ने बंद कर दिया था। जिसके कारण दो लोगों को सजा मिली है। जिसमें से एक को फांसी और दूसरे को उम्र कैद और अभी जो 85 लोगों की सजा बहाल हुई है वह नहीं होती। दिल्ली सरकार गलत हाथों में है। केजरीवाल सरकार भी कसूरवारों को बचाने के लिए कांग्रेस पार्टी के शामिल हुई है। दोषियों को बचाने में मुख्यमंत्री दिल्ली को इनका जवाब लोगों को देना होगा। इस मौके पर स्त्री अकाली दल की जिला प्रधान कुल¨वदर कौर, बेदी इंद्रजीत ¨सह, सु¨रदर ¨सह मटौर, मोहन ¨सह ढाहे, मन¨जदर ¨सह मटोर, हरजीत ¨सह अ¨चत आदि उपस्थित थे।
चंदूाजरा को दिया मांगपत्र
इस दौरान ऑल इंडिया मजदूर दल की ओर से सासंद प्रोफेसर प्रेम ¨सह चंदूमाजरा को एक मांगपत्र भी दिया गया। जिसमें प्रधान गुरदीप ¨सह ढींगी ने कहा कि वन रेंज आनंदपुर साहिब में जो कर्मचारी काम कर रहे हैं उन्हें अप्रैल 2017 से वेतन नही मिला है। इन कर्मचारियों को वेतन देने के बदले कर्मचारियों को नौकरी से फारिग किया जा रहा है। उन्होंने मांग की कि उनका बकाया वेतन जल्द से जल्द जारी किया जाए और कर्मचारियों को नौकरी से निकालने की बजाए पक्का किया जाए।