18 दिन में 25 डिफाल्टरों से वसूले साढ़े तीन करोड़
द हिदू बैंक प्रबंधन ने डिफाल्टरों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। बैंक ने 25 डिफाल्टरों से साढ़े तीन करोड़ रुपए की रिकवरी की है।
जागरण संवाददाता, पठानकोट
द हिदू बैंक प्रबंधन ने डिफाल्टरों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। बैंक ने 25 डिफाल्टरों से साढ़े तीन करोड़ रुपए की रिकवरी की है। पिछले 18 दिनों में बैंक को यह सफलता मिली है। आने वाले दिनों में बैंक फंसी हुई राशि की रिकवरी में तेजी लाने के दावे कर रहा है। इसके लिए बैंक की 6 टीमें फील्ड में जुटी हुई हैं। डिफाल्टरों को सबक सिखाने के लिए 21 डिफाल्टरों की प्रापर्टियों की नीलामी भी जल्द सिरे चढ़ने वाली है। बैंक से कर्ज लेने वाले 175 डिफाल्टरों के पास 180 करोड़ रुपए की मोटी रकम अटकी हुई है। बार-बार नोटिस भेजने के बाद भी डिफाल्टर इसे अनदेखा कर रहे हैं। जबकि आर्थिक स्थिति डांवाडोल होने पर बैंक के पास खाताधारकों को पैसे और कर्मचारियों को सैलरी देने के लिए राशि जुटाना मुश्किल हो गया है। बैंक को बचाने के लिए प्रबंधन विधायक अमित विज के पास भी बार -बार गुहार लगा रहे हैं। विधायक की सख्ती के बाद डिफाल्टरों से पैसे की वसूली का काम जारी हो गया है। पहले फेज में 21 डिफाल्टरों की प्रॉपर्टी बेचकर 23 करोड़ की रिकवरी की जानी है। जबकि तहसीलदार राजस्व को डिफाल्टरों की संपत्तियों की निशानदेही आदि की प्रक्रिया का जिम्मा पहले ही सौंपा जा चुका है। माना जा रहा है कि सोमवार को बैंक प्रबंधन नीलामी को लेकर दिन तय कर सकता है। इसके साथ ही डिफाल्टरों को लेकर भी बड़ी कार्रवाई का फैसला हो सकता है। वहीं, हिदू बैंक के सीईओ अमन मेहता ने कहा है कि डिफाल्टरों से ब्याज सहित कर्ज की वसूली होगी। जो भी डिफाल्टर आदेश को नहीं मानेगा, बैंक उसके खिलाफ हर तरह से निपटेगा।
90 हजार खाताधारकों को राहत नहीं
हिदू बैंक ने अभी तक 90 हजार खाताधारकों को राहत नहीं दी है। एक समय में चार हजार रुपए की निकालने की शर्त अभी भी लागू है। इन हालातों में खाताधारकों की परेशानी कायम है और वह प्रबंधन के इस कदम को लेकर नाखुश हैं। हालांकि बैंक उन्हें लंबे समय से उनकी राशि सुरक्षित होने का दिलासा दे रहा है पर अभी तक खाताधारकों को अधिक पैसा निकालने को लेकर बड़ा फैसला नहीं हो सका है।