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संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर किसानों ने धरना देकर रेल परिचालन किया ठप

संयुक्त किसान मोर्चा दिल्ली के रेल रोकने के आह्वान पर सोमवार को किसान जत्थेबंदियों की तरफ से रेलवे स्टेशन नवांशहर में धरना दिया गया। यह धरना सुबह दस से शाम चार बजे तक लगाया गया।

By JagranEdited By: Published: Mon, 18 Oct 2021 09:28 PM (IST)Updated: Mon, 18 Oct 2021 09:28 PM (IST)
संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर किसानों ने धरना देकर रेल परिचालन किया ठप
संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर किसानों ने धरना देकर रेल परिचालन किया ठप

जागरण संवाददाता, नवांशहर : संयुक्त किसान मोर्चा दिल्ली के रेल रोकने के आह्वान पर सोमवार को किसान जत्थेबंदियों की तरफ से रेलवे स्टेशन नवांशहर में धरना दिया गया। यह धरना सुबह दस से शाम चार बजे तक लगाया गया। इस दौरान रेल परिचालन पूर्ण रूप से बाधित रहा। धरने को संबोधित करते हुए किरती किसान यूनियन के जिला प्रधान सुरिदर सिंह बैंस, भूपिदर सिंह वड़ैच, दोआबा किसान यूनियन के प्रधान कुलदीप सिंह बजीदपुर, कुलदीप सिंह दयालां, अमरजीत सिंह बुर्ज, कुलहिद किसान सभा के नेता मुकंद लाल, लोकतांत्रिक किसान सभा के नेता सतनाम सिंह गुलाटी, स्त्री जागृति मंच के प्रदेश प्रधान गुरबख्श कौर संघा, किरती किसान यूनियन के स्त्री विग के जिला प्रधान सुरजीत कौर उटाल, रेहड़ी वर्कर्स यूनियन के प्रधान हरे राम सिंह ने कहा कि लखीमपुर खीरी की घटना के मुख्य आरोपित अशीष मिश्रा के पिता केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा को अभी तक बर्खास्त नहीं किया गया है। जिसके कारण वे अपने पद का दुरुपयोग कर हिसा में शामिल लोगों का बचाव कर रहे हैं। किसान नेताओं ने कहा कि केंद्र सरकार कृषि सुधार कानूनों को लेकर चल रहे संघर्ष से बुरी तरह बौखलाहट में है। जिसके कारण इस संघर्ष को रास्ते से हटाने के लिए केंद्र अब दु‌र्व्यवहार कर रही।

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उन्होंने कहा कि ये कानून न सिर्फ किसानों के लिए खतरनाक हैं, बल्कि यह समूचे देश के लोगों को तबाह करके रख देंगे। उन्होंने कहा कि केंद्र ने यह कानून व्यवसायियों की जेब भरने के लिए पारित किया है। केंद्र सरकार देसी-विदेशी व्यवसायियों के लिए काम कर रही है। सार्वजनिक विभागों को व्यवसायियों को कौड़ियों के भाव बेचा जा रहा है। किसान नेताओं ने कहा कि यह संघर्ष अब देश व्यापी और सार्वजनिक संघर्ष बन चुका है। इसको किसी विशेष धर्म, जाति या क्षेत्र के साथ जोड़ने की सरकारी कोशिशों को सफल नहीं होने दिया जाएगा। इस मौके पर बचित्र सिंह महमूदपुर, सुरिदर सिंह महरमपुर, मनजीत कौर अलाचौर, मक्खण सिंह भानमजारा, सतनाम सिंह सूज्जों, बलजिदर सिंह भंगल आदि नेता मौजूद थे।


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