सरकारी प्राइमरी स्कूलों में 1069 नए विद्यार्थियों का दाखिला
पंजाब सरकार द्वारा शिक्षा में सुधार के लिए की गई पहल के अच्छे परिणाम दिखने शुरू हो गए हैं।
जेएनएन, नवांशहर : पंजाब सरकार द्वारा शिक्षा में सुधार के लिए की गई पहल के अच्छे परिणाम दिखने शुरू हो गए हैं। जिले के प्राइमरी स्कूलों में इस बार 1069 नए विद्यार्थियों ने दाखिला लिया है। सरकारी प्राइमरी स्कूलों में 123 स्कूलों में इंग्लिश मीडियम में पढ़ाई करवाई जा रही है। एडीसी अनुपम कलेर ने बताया कि शिक्षा सचिव कृष्ण कुमार द्वारा सरकारी स्कूलों का स्तर उंचा उठाने के लिए प्रयत्नों के तहत जिला नवांशहर में भी प्राइमरी स्कूलों में बच्चों की संख्या में बढ़ोतरी की है। जिला प्रशासन द्वारा भी शिक्षा सचिव द्वारा किए गए प्रयत्नों में सहयोग किया गया। इस तहत जिले में 48 स्कूलों को सीएसआर के तहत सेल्फ मेड स्मार्ट स्कूल बनाने के प्रयत्न किए गए थे, जिसमें 31 प्राइमरी स्कूल हैं। जिला शिक्षा दफ्तर (एलिमेंटरी) द्वारा लोगों के सहयोग के साथ जिले में अब तक 47 स्कूलों को स्मार्ट बना दिया गया है तथा 62 स्कूलों को स्मार्ट बनाने के प्रयत्न किए जा रहे हैं। प्राइमरी स्कूलों में विद्यार्थियों की संख्या 22,812
उन्होंने बताया कि सरकारी स्कूलों में किए जा रहे बदलाव के कारण विद्यार्थी सरकारी स्कूलों की तरफ आकर्षित हो रहें हैं। जुलाई महीने के अंत तक जिले के प्राइमरी स्कूलों में विद्यार्थियों की संख्या 22,812 हो गई है, जबकि पिछले सेशन में यह संख्या 21,713 थी। इस प्रकार सरकारी स्कूलों में अब तक 1,069 नए विद्यार्थियों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है। उन्होंने प्राइमरी स्कूलों में विद्यार्थियों की संख्या में बढ़ोतरी के बारे में बताया कि पिछले सैशन में 3,471 नए विद्यार्थियों के मुकाबले इस सेशन में 4,386 नए विद्यार्थियों ने दाखिला लिया है। इस मौके एडीसी ने बताया कि जिले के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों की निशुल्क जांच और जरूरत मुताबिक उनके महगे इलाज और आपरेशन भी करवाए जाते हैं। यह सब राष्ट्रीय बाल सेहत प्रोग्राम तहत किया जाता है। बच्चों में सीखने और ग्रहण करने की रूचि बढ़ रही : कमल चोपड़ा
जिला शिक्षा अफसर कमल चोपड़ा ने बताया कि सरकारी प्राइमरी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों में सीखने और ग्रहण करने की रूचि को बढ़ाने के लिए बच्चों में खेलों, मॉडलों और अन्य तकनीकों का इस्तेमाल किया जा रहा है। पढ़ो पंजाब पढ़ाओ पंजाब तहत कमजोर विद्यार्थियों को विषयों की कोचिग दी जा रही है।