जगराओं के युवक ने महिला के साथ पूर्व पटवारी की वीडियो की वायरल, आइटी एक्ट के तहत केस
बंगा सब डिविजन के अंतर्गत गांव लालोमाजरा में दो साल पहले पूर्व पटवारी के साथ हुई वारदात की वीडियो लुधियाना के जगराओं के युवक ने सोशल मीडिया पर वायरल कर दी है।
जासं, नवांशहर : बंगा सब डिविजन के अंतर्गत गांव लालोमाजरा में दो साल पहले पूर्व पटवारी के साथ हुई वारदात की वीडियो लुधियाना के जगराओं के युवक ने सोशल मीडिया पर वायरल कर दी है। युवक कभी लालोमाजरा गांव में आया भी नहीं था। मामले का पता मोहाली की साइबर सेल ने लगाया है। युवक के खिलाफ पुलिस ने आइटी एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है। अभी आरोपित को गिरफ्तार नहीं किया गया है। इस संबंध में पूर्व पटवारी की पत्नी ने पति की प्रतिष्ठा को ठेस पहुंचाने व जाति सूचक शब्द कहने की शिकायत की थी। जानकारी के मुताबिक गांव जींदोवाल निवासी सीता देवी ने पुलिस को शिकायत दी थी कि उनके पति पहले पटवारी थे। रिटायर होने के बाद वह गांव लालोमाजरा में एनआरआइ सोहन सिंह की कोठी की देखभाल करते हैं। पास में ही उन्होंने जमीन खरीदी है। कोठी में लोग उनसे आकर मिलते भी हैं। 13 सितंबर 2017 को कोठी के बाथरूम में वह नहा रहे थे। इसी दौरान गांव के कुछ लोगों ने आकर दरवाजे को पीटना शुरू कर दिया। दरवाजा खोला तो गांव के कुछ लोगों ने उन्हें जाति सूचक शब्द कहे। इसके साथ ही उसकी वीडियो बनानी शुरू कर दी। सीता देवी ने शिकायत में बताया है कि उस दौरान एक महिला वहां काम के लिए आई थी। उसे गांव के लोगों ने एक कमरे में बंद करके उसके पति के खिलाफ साजिश की। इसके साथ ही उसकी वीडियो भी बनाई। इसके बाद वीडियो को फेसबुक पर लाइव कर दिया। उसके पति के साथ काफी गाली गलौज व उसे पीटा भी गया। वीडियो बनाने वाले उनके पति से 17 हजार रुपये लेकर चले गए। ग्रामीणों ने वाट्सएप के जरिए वीडियो को वायरल कर दिया।
किसी महिला ने चमन लाल के खिलाफ नहीं की थी शिकायत
शिकायतकर्ता सीता देवी के अनुसार वायरल वीडियो में वारदात को लेकर किसी भी महिला ने उसके पति के खिलाफ कोई शिकायत नहीं की है। वीडियो में उसके पति द्वारा कोई गलत हरकत साबित भी नहीं होती है। यह सब साजिश के तहत किया गया था। इस वारदात से उनके पति काफी मानसिक व शारीरिक तौर पर परेशान हुए। उनका इलाज भी करवाया गया। वह अभी तक सदमे में हैं। सीता देवी ने वारदात में शामिल गांव के लोगों के खिलाफ एससी एक्ट के तहत मामला दर्ज करने की मांग की थी।
17 हजार रुपये लेने का नहीं मिला कोई सबूत : डीएसपी
डीएसपी (हेड क्वार्टर) गुरप्रीत सिंह ने मामले की जांच और रिपोर्ट में लिखा कि चमन लाल के खिलाफ जाति सूचक शब्द कहने, मारपीट करने और 17 हजार रुपये लेने का कोई सबूत नहीं मिला। चमन लाल व महिला की वीडियो सोशल मीडिया पर जरूर डाली गई थी। जिन लोगों के खिलाफ शिकायत की गई थी, इसकी जांच के लिए मामला मोहाली के साइबर सेल में भेजा गया। साइबर सेल ने जांच में पाया कि उनके मोबाइल से सोशल मीडिया पर यह वीडियो नहीं डाली गई थी, बल्कि वीडियो मोबाइल नंबर 9877990066 जिसे इंद्रप्रीत सिंह इस्तेमाल करता था, उसने सोशल मीडिया पर डाली थी।
गांव के किसी अन्य व्यक्ति ने बनाई हो सकती है वीडियो
पुलिस ने जांच में पाया कि इंदप्रीत की जिनके खिलाफ शिकायत दी गई है उनसे कोई संबंध नहीं है। गांव के लोगों ने पुलिस को यह भी जानकारी दी कि उक्त व्यक्ति कभी भी उनके गांव में नहीं आया है। पुलिस ने अपनी रिपोर्ट में लिखा कि वारदात वाले दिन गांव के किसी अन्य व्यक्ति ने वीडियो बनाई हो सकती है। लीगल ओपिनियन के लिए मामले को डीए लीगल के पास भेजा गया। उन्होंने इंद्रप्रीत के खिलाफ कार्रवाई करने की सिफारिश की। रिपोर्ट मिलने के बाद एसएसपी ने इस संबंध में इंद्रप्रीत के खिलाफ आइटी एक्ट के तहत मामला दर्ज करने के निर्देश दिए।