शहर में कैमरे लगाने को पुलिस ने निगम से की डिमांड
मोगा : मोगा के पूर्व एसएसपी स्नेहदीप शर्मा द्वारा समाजसेवी संस्थाओं के सहयोग से लाखों रुपये खर्च कर शहर में लगवाए गए 26 कैमरों ने दम तोड़ दिया है।
संवाद सहयोगी, मोगा : मोगा के पूर्व एसएसपी स्नेहदीप शर्मा द्वारा समाजसेवी संस्थाओं के सहयोग से लाखों रुपये खर्च कर शहर में लगवाए गए 26 कैमरों ने दम तोड़ दिया है। शहर में तीसरी आंख बंद होने के बाद मोगा के एसएसपी गुरप्रीत ¨सह तूर ने नगर निगम को एक डिमांड पत्र भेजा है, जिसमें शहर की 50 प्रमुख जगहों पर 150 कैमरों लगवाने का एस्टीमेट है। इस एस्टीमेट पर कुल 30 लाख की लागत का अंदाजा है।
बता दें कि पुलिस द्वारा शहर में कैमरे स्थापित करवाने का मुख्य उदेश्य भविष्य में ई-चालान की व्यवस्था करने समेत लूटपाट की घटनाओं पर नकेल कसना है, लेकिन इ-चालान की व्यवस्था के सपने देखने वाली मोगा पुलिस शहर में लाखों की लागत से लगे कैमरों को ही चलता नहीं रख पाई। उचित संभाल न होने से खराब हुए कैमरे
अधिकारिक जानकारी के अनुसार शहर में करीब दस लाख की कीमत से 26 कैमरे लगवाए गए थे, लेकिन उनकी उचित संभाल न होने के चलते दिन प्रति दिन सभी कैमरे बंद हो गए। इस समय 26 में से शहर की रामगंज मंडी में लगा महज एक ही कैमरा चल रहा है। बाकी के सभी कैमरों को पुलिस ने उतरवाकर री-इनस्टालमेंट के लिए कंपनी के पास भेज दिया है। लेकिन लाखों के हुए इस नुक्सान के लिए किसी की भी जिम्मेदारी तय नही है कि कैमरे स्थापित करने के बाद मानीट¨रग के अलावा कैमरों की उचित संभाल कौन करेगा। वहीं पुलिस अधिकारी अब कैमरों के खराब होने के पीछे लोगों की लापरवाही भी बता रहे हैं कि लोगों ने कैमरे की वायर काट दी, जिस कारण कैमरा बंद रहा। योजना पर हाउस ने जताया एतराज
निगम में आखिरी बार हुई जरनल हाउस की बैठक में मता डाला गया था कि करीब 30 लाख रुपये का फंड पुलिस को दिया जाए ताकि शहर की 50 प्रमुख जगहों पर कैमरे लगाए जा सकें, लेकिन इस मते पर हाउस ने एतराज जाहिर करते कहा कि एसएसपी पहले ये बताएं कि पहले लगे कैमरों की स्थिति क्या है, कितने चलते हैं, कितने खराब है। कैमरे खराब होने के कारण क्या रहा। कैमरों की मानीट¨रग कहां से हो रही है। कैमरे लगाने के बाद शहर की ट्रैफिक व्यवस्था या फिर लूटपाट पर क्या असर पड़ा। इन सवालों के जवाब देने के बाद ही हाउस ने इस मते को पास करने का फैसला लिया है। फोटो-9
ट्रैफिक पुलिस में मुलाजिमों की बढ़ोतरी रहेगी फायदेमंद
पार्षद गुर¨मदरजीत ¨सह बब्बलू का कहना है कि शहर में कैमरे लगाने से पहले जिला पुलिस को ट्रैफिक ¨वग में मुलाजिमों की संख्या बढ़ानी होगी। इस समय ट्रैफिक ¨वग में महज 30 पुलिस मुलाजिम ही कार्यरत है, अगर मुलाजिमों की संख्या बढ़ाकर 50 से 60 कर दी जाए तो शहर में 15 से 20 ट्रैफिक मुलाजिमों की तैनाती से लोगों को ट्रैफिक जाम की समस्या से राहत मिलेगी, वहीं शहर में हो रही छीनाझपटी की घटनाओं पर भी शिकंजा कसा जा सकेगा। फोटो-10
डिमांड भेजी है अभी जवाब नही मिला : एसएसपी
एसएसपी गुरप्रीत ¨सह तूर का कहना है कि उनके द्वारा नगर निगम से डिमांड की गई है कि शहर के प्रमुख चौराहों व स्थानों पर निगम कैमरे स्थापित करवाए ताकि शहर वासियों की सुरक्षा को पुख्ता करने समेत कानून व्यवस्था को बरकरार रखा जा सके, लेकिन अभी तक उनकी डिमांड पर निगम ने कोई जवाब नही दिया है।