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Tokyo Olympics 2021: शाटपुटर तेजिंदरपाल तूर की मां ने बेटे से मांगा देश के लिए गोल्ड मेडल, तोड़ चुके हैं एशियन रिकार्ड

मोगा के गांव खोसा पांडो में हीरो नाम से विख्यात तेजिंदर के पिता कर्म सिंह हीरो अपने बेटे को जीवन में हीरो बनते देखना चाहते थे। अब वे दुनिया में नहीं हैं। मां को उम्मीद है कि उनका बेटा असली हीरो तो ओलिंपिक का पदक लाकर बनेगा।

By Pankaj DwivediEdited By: Published: Fri, 23 Jul 2021 03:40 PM (IST)Updated: Fri, 23 Jul 2021 04:00 PM (IST)
Tokyo Olympics 2021: शाटपुटर तेजिंदरपाल तूर की मां ने बेटे से मांगा देश के लिए गोल्ड मेडल, तोड़ चुके हैं एशियन रिकार्ड
एशियन शाटपुट गोल्ड जीत चुके मोगा के तेजिंदर पाल सिंह तूर टोक्यों ओलिंपिक में पदक के दावेदार हैं। फाइल फोटो

सत्येन ओझा, मोगा। अर्जुन पुरस्कार विजेता शाटपुटर मोगा के तेजिंदर पाल सिंह तूर ने टोक्यो ओलिंपिक में रवाना होने से एक दिन पहले वीरवार को मां प्रितपाल कौर से आशीर्वाद लिया। हमेशा दुआओं में रहने वाले अपने इस सपूत को आशीर्वाद देते हुए मां देश के लिए उससे गोल्ड मेडल मांग लिया, बेटे ने भी मां को वादा किया, मां अब मेडल के साथ ही मिलूंगा। 

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तेजिंदर पाल के लिए अब मां ही पिता की भूमिका में हैं। हीरो नाम से गांव खोसा पांडो में विख्यात तेजिंदर के पिता कर्म सिंह हीरो अपने बेटे को जीवन में हीरो बनते देखना चाहते थे। अब वे दुनिया में नहीं हैं। अब पत्नी व तेजिंदर की मां को उम्मीद है कि उनका बेटा असली हीरो तो ओलिंपिक का पदक लाकर बनेगा।

मोगा के अर्जुन पुरस्कार विजेता शाटपुटर तेजिंदर पाल सिंह तूर मां प्रितपाल कौर की गोद में, साथ में पिता कर्म सिंह हीरो।

तेजिंदर 23 जुलाई को टोक्यो ओलिंपिक के लिए रवाना हो रहे हैं। उनके बचपन के दोस्त व स्पोर्ट्स कालेज, पटियाला के साथी खिलाड़ी गुरप्रीत सिंह बताते हैं कि उन्होंने साल 2007 में तेजिंदर के साथ ही शाटपुट में अपना करियर शुरू किया था। तेजिंदर पाल में जो अलग बात है वह यह कि उसमें अपने लक्ष्य को हासिल करने के लिए गजब का जुनून है।

बचपन में बहन नवदीत कौर के साथ तेजिंदर पाल सिंह तूर।

बीमार पिता के लिए जीता था एशियन गोल्ड

साल 2018 की वो क्षण कौन भूल सकता है जब पिता कर्म सिंह के बीमार होने के कारण तेजिंदर सिंह तूर ने एशियन गेम्स में खेलने से मना कर दिया था। तब कोच मोहिंदर सिंह ढिल्लों की प्रेरणा से वे एशियन गेम्स खेलने गए और गोल्ड मेडल लेकर आए। तब पिता ने टीवी पर बेटे को गोल्ड मेडल पहनते हुए देखा था लेकिन दुर्भाग्यवश लौटकर पिता उन्हें नहीं मिले। वह बेटे को हीरो बनते देख दुनिया से विदा हो गए। बेटे के जुनून को देख मां को उम्मीद है कि उनका बेटा टोक्यो से पदक लेकर लौटेगा।

 

वर्ष 2018 में एशियन गेम में गोल्ड मैडल मिलने के बाद अर्जुन पुस्कार विजेता तेजिंदर पाल सिंह तूर मोगा में 2019 में गणतंत्र दिवस समागम दौरान पहुंचे थे। उस समय प्रशंसक हेमंत कुमार हैपी व अन्य के साथ।

जुनून के बल पर तोड़े राष्ट्रीय और एशियन रिकार्ड

तेजिंदर पाल के जुनून का ही कमाल था कि इस साल जून में उन्होंने एनआइएएस में इंडियन ग्रांड प्री में 21.49 मीटर की दूरी तय करते हुए न सिर्फ टोक्यो का टिकट कटवाया, बल्कि राष्ट्रीय रिकार्ड और एशियाई रिकार्ड बना डाला। 26 वर्षीय तेजिंदर का पिछला सर्वश्रेष्ठ 20.92 मीटर तक गोला फेंकने का रिकार्ड था। तूर ने वर्ष 2019 में बनाए अपने ही राष्ट्रीय रिकार्ड 20.92 मीटर को तोड़ा। साथ ही, 2009 में सऊदी अरब के सुल्तान अब्दुलमजीद अल-हेबशी द्वारा बनाए गए 21.13 मीटर के एशियाई रिकार्ड को भी तोड़ डाला। 

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