15 दिन व्रत रख मां ने की कठोर तपस्या, अपहरणकर्ता मंजू मनाती रही जश्न
एक बेऔलाद मां ने खुद की कोख को भरने के लिए दूसरी मां का बच्चा छीन लिया, लेकिन अगर इंसान की चलती तो भगवान को कौन याद करता।
लुधियाना, [अर्शदीप समर]। एक बेऔलाद मां ने खुद की कोख को भरने के लिए दूसरी मां का बच्चा छीन लिया, लेकिन अगर इंसान की चलती तो भगवान को कौन याद करता। बेऔलाद मां पूनम ने 15 दिन तक भूखे रहकर भगवान के सामने व्रत रखा और अपने डेढ़ महीने के बच्चे को सही सलामत मांगने की दुआ करती रही। वहीं, पूनम के बेटे संदीप को अगवा करने के बाद अपहरणकर्ता मंजू इन दिनों में रोजाना जश्न मना रही थी। लोगों का कहना ठीक ही है कि भगवान के घर देर है, लेकिन अंधेर नहीं। अंत में पूनम की मन्नत पूरी हुई और और संदीप वापस अपनी मां की गोद में आ गया।
वहीं, संदीप का अपहरण करने वाले अपहरणकर्ता सलाखों के पीछे पहुंच गए। संदीप के परिवार वालों ने धीरे-धीरे आस छोड़नी शुरू कर दी थी। संदीप के मिलने के बाद उसकी मां पूनम ने कहा कि वह दस किलो मिठाई मंदिर में चढ़ाएगी और लोगों में बांटेगी। संदीप के पिता श्याम लाल ने बताया कि उनकी पहले दो बेटियां हुई थी, जिसमें खुशबू (5) और खुशी (3) साल की है। दो बेटियों के बाद संदीप हुआ था। संदीप के होने के बाद पूरे परिवार ने जश्न मनाया था। नौ महीने तक आरोपित मंजू ने गर्भवती बन किया ड्रामा बच्चे को अगवा करने के लिए मंजू ने अपने पति उपिंदर यादव के साथ मिलकर नौ महीने पहले ही योजना बना ली थी। इसके लिए मंजू ने अपने परिजनों से कहा कि वह गर्भवती हो गई है। उसने बेबी बंप भी बना लिया था, ताकि अगवा करने पर उसे कोई पकड़ न पाए। संदीप को अगवा करने के बाद मंजू ने बच्चा होने की जानकारी घरवालों को दे दी थी।