चूरापोस्त की खेती करने के बयान पर घिर सकते हैं सांसद गांधी, आइजी ने की जांच
लुधियाना रेंज के आइजी आरएस खटड़ा ने चूरापोस्त की खेती करने की सूचना मिलने पर नीलो नहर और उसके आसपास के इलाके में जाकर जांच की। हालांकि कहीं इसकी खेती देखने को नहीं मिली।
जेएनएन, लुधियाना। छपार और आसपास के इलाकों में चूरापोस्त की खेती के लिए बीज बीजने के मामले में पटियाला के सांसद धर्मवीर गांधी घिरते नजर आ रहे हैं। हालांकि चूरापोस्त (रिवायती नशे) की खेती पर कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू ने भी गांधी का समर्थन किया है। उनका तर्क था कि चूंकि पहले बुजुर्ग इसका सेवन करते थे और अब इससे हेरोइन जैसे गंभीर नशे से युवाओं को बचाया जा सकेगा।
उधर, गत दिवस लुधियाना रेंज के आइजी आरएस खटड़ा ने चूरापोस्त की खेती करने की सूचना मिलने पर नीलो नहर और उसके आसपास के इलाके में जाकर जांच की। हालांकि कहीं इसकी खेती देखने को नहीं मिली। आइजी के अनुसार चूरापोस्त की खेती अवैध है। जब तक इसकी खेती के संबंध में कोई कानून राज्य सरकार पास नहीं करती है, तब तक इसकी खेती करना जुर्म होगा। इस मामले में सांसद गांधी के खिलाफ कार्रवाई करने के सवाल पर आइजी खटड़ा ने कहा कि फिलहाल मामले की जांच की जा रही है। अगर कोई सुबूत मिला तो कार्रवाई की जाएगी।
बता दें, दो दिन पूर्व सांसद डॉ. धर्मवीर गांधी ने कहा था कि किसानी और जवानी को बचाने के लिए खसखस (अफीम के बीज) की खेती जरूरी है। ऐसा नहीं किया गया तो आने वाले कुछ ही समय में पंजाब बर्बाद हो जाएगा। सरकारों ने पंजाब को मौत का कुआं बनाकर रख दिया है। पंजाब को बचाने के लिए गेहूं के साथ ही खसखस की भी बिजाई शुरू करेंगे। फिर भले कैप्टन आ जाएं या कोई और वह नहीं रुकेंगे।
गांधी ने कहा था, बगावत इजाजत नहीं मांगती। 15 साल से वे करीब-करीब हर घर से मां की चीखें सुन रहे हैं, जिनके बच्चे मेडिकल नशे ने छीन लिए हैं। पुलिस ने पहले आतंकवाद के नाम पर लोगों को लूटा और अब एनडीपीएस एक्ट आ गया है। इससे पुलिस खूब कमाई कर रही है। 25 हजार युवक इन्हीं केसों में जेल में बंद हैं। अफीम खाने वालों को अपराधी कहा जा रहा है। वह अपराधी नहीं बीमार हैं। अब नेताओं ने इसे बिजनेस बना लिया है। मेडिकल नशा बेचकर अरबों रुपये कमा रहे हैं। नशा खत्म करने की अकालियों और कांग्रेसियों की नीयत नहीं है। वे शवों पर राजनीति कर रहे हैं। सांसद गांधी ने स्टेज से खसखस के बीज भी जमीन पर फेंके थे।
खेती करनी है तो कानून पारित करे सरकार : आइजी
चूरापोस्त की खेती पर डॉ. गांधी और सिद्धू के एक जैसे बयान पर आइजी खटड़ा ने कहा कि इसकी खेती करनी है तो कानून पारित करना होगा, जिसके दायरे में ही रहकर इसकी खेती की जा सकेगी।