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पूर्व आप जिला प्रधान दलजीत भोला थामेंगे कांग्रेस का 'हाथ', कैप्टन से मिलने पहुंचे

भोला ने शुक्रवार को अाम आदमी पार्टी प्रधान पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद से उनके अकाली दल में जाने की चर्चा चल रही थी।

By Pankaj DwivediEdited By: Published: Sat, 13 Apr 2019 01:56 PM (IST)Updated: Sat, 13 Apr 2019 01:56 PM (IST)
पूर्व आप जिला प्रधान दलजीत भोला थामेंगे कांग्रेस का 'हाथ', कैप्टन से मिलने पहुंचे
पूर्व आप जिला प्रधान दलजीत भोला थामेंगे कांग्रेस का 'हाथ', कैप्टन से मिलने पहुंचे

लुधियाना [अर्शदीप समर]। अाम अादमी पार्टी के जिला प्रधान पद से इस्तीफा दे चुके दलजीत सिंह भोला शनिवार की शाम कांग्रेस में शामिल हो जाएंगे। भोला अपने साथियों के साथ चंडीगढ़ के लिए रवाना हो चुके हैं। वहां सांसद रवनीत सिंह बिट्टू अौर कैबिनेट मंत्री भारत भूषण अाशु की अगुआई में भोला मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह से मुलाकात करेंगे अौर कांग्रेस का हाथ थाम लेंगे। हालांकि अभी कांग्रेस के सीनियर नेताअों अौर भोला ने इस बात पर चुप्पी साधी हुई है। भोला ने शुक्रवार को अाप से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद से उनके शिअद में जाने की चर्चा चल रही थी। सूत्रों के मुताबिक सांसद रवनीत सिंह बिट्टू अौर कैबिनेट मंत्री भारत भूषण अाशु से बातचीत के बाद भोला कांग्रेस का हाथ थामने को तैयार हो गए।
 

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तीन बार पार्षद अौर दो बार विधानसभा लड़ चुके हैं भोला

दलजीत सिंह भोला ने 2007 में राजनीति में कदम रखा था। तब उन्होंने नगर निगम में अाजाद प्रत्याशी के रूप में पार्षद का चुनाव जीता था। उसके बाद 2012 में दोबारा भोला ने अाजाद उम्मीदवार के तौर पर निगम चुनाव में उतरे अौर एक बार फिर जीत हासिल की। 2018 में भोला का वार्ड महिला होने पर भोला ने अपनी पत्नी बलविंदर कौर को अाप की टिकट पर निगम चुनाव में उतारा। नगर निगम चुनाव में अाम अादमी पार्टी सिर्फ बलविंदर कौर की सीट पर ही जीत हासिल कर सकी। भोला ने अाजाद उम्मीदवार के तौर पर दो विधानसभा चुनाव भी लड़े हैं। 2012 के विधानसभा चुनाव में भोला को साढ़े 22 हजार वोटें पड़ी थी अौर 2017 में भोला को साढ़े 41 हजार के करीब वोट मिले थे। इसके बाद से भोला पर शिअद समेत अन्य पार्टियों की नजर गढ़ी थी।
 

टीम इंसाफ बनाने में भोला का अहम योगदान

लोक इंसाफ पार्टी के संयोजक एवं विधायक सिमरजीत सिंह बैंस ने शिअद से अलग होकर सबसे पहले टीम इंसाफ बनाई थी। टीम इंसाफ के निर्माण में दलजीत सिंह भोला का अहम योगदान था। पिछली शिअद-भाजपा गठबंधन सरकार में भोला ने बैंस के साथ मिलकर रेत माफिया के खिलाफ मुहिम शुरु की थी। इस मुहिम में भोला के खिलाफ मामले भी दर्ज हुए थे अौर बैंस के साथ जेल में भी जाना पड़ा था। इसके बाद भोला की बैंस के साथ तकरार हो गई अौर वह टीम इंसाफ छोड़ कर अाम अादमी पार्टी में शामिल हो गए थे।

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