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एंटी करप्शन फेडरेशन के प्रवक्ता ने एसीपी पर पांच लाख रुपये रिश्वत मांगने का लगाया आरोप

पांच लाख रुपये रिश्वत नहीं दी तो एसीपी लखवीर सिंह टिवाना ने मुझ पर धोखाधड़ी का झूठा पर्चा दर्ज करवा दिया।

By Edited By: Published: Wed, 23 Jan 2019 05:45 AM (IST)Updated: Wed, 23 Jan 2019 05:45 AM (IST)
एंटी करप्शन फेडरेशन के प्रवक्ता ने एसीपी पर पांच लाख रुपये रिश्वत मांगने का लगाया आरोप

जेएनएन, लुधियाना। पांच लाख रुपये रिश्वत नहीं दी तो एसीपी लखवीर सिंह टिवाना ने मुझ पर धोखाधड़ी का झूठा पर्चा दर्ज करवा दिया। ये आरोप एंटी करप्शन फेडरेशन ऑफ इंडिया के प्रवक्ता परमिंदर सिंह बाजवा ने प्रेस कांफ्रेंस के दौरान लगाए। बाजवा ने कहा कि वह बेकसूर हैं, किसी भी एजेंसी से मामले की दोबारा जांच कराने के लिए तैयार हैं। फेडरेशन के प्रधान नीरज चावला ने कहा कि थाना नंबर सात की पुलिस ने 26 अगस्त को विजय जैन और सतवंत सिंह की शिकायत पर बाजवा के खिलाफ धोखाधड़ी का केस दर्ज किया। आरोप है कि बाजवा ने 4.80 लाख रुपये लेकर जमीन के मामले में धोखाधड़ी की है जबकि उन दोनों का उस जमीन से कोई लेना-देना नहीं है। बल्कि उस जमीन को एक महिला ने बेचा था। दोनों ने दिसंबर 2014 में उनके खिलाफ पुलिस कमिश्नर को झूठी शिकायत दी। इसकी जांच के लिए एसीपी साहनेवाल लखवीर सिंह टिवाना (अब एसीपी नॉर्थ) को सौंपी गई। 2015 में एसीपी ने बाजवा को अपने ऑफिस बुलाया।

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आरोप है कि एसीपी ने रिपोर्ट बाजवा के हक में बनाने के बदले में पांच लाख रुपये रिश्वत की मांग की। बाजवा ने इंकार कर दिया तो उन पर केस दर्ज कर दिया गया। डीए लीगल अश्विनी बेदी की भूमिका पर भी फेडरेशन ने आरोप लगाए। उनका आरोप है तथ्यों की जांच के बगैर उन्होंने मामला दर्ज करने की सिफारिश कर दी। उन्होंने कहा कि मामले की फिर से जांच कराने के लिए बाजवा ने पुलिस कमिश्नर को दरख्वास्त दी। इसकी जांच अब डीसीपी अश्विनी कपूर कर रहे हैं। विजिलेंस ब्यूरो के डायरेक्टर बीके उप्पल को भी शिकायत भेजी गई है। इसके अलावा एसएसपी विजिलेंस को भी शिकायत देकर जांच की मांग की है। मामले की जांच डीएसपी जसविंदर सिंह कर रहे हैं। एसीपी नॉर्थ लखवीर सिंह टिवाना का कहना है कि मैंने जांच नहीं की, बाजवा पर पहले भी ठगी के 4 मामले आरोप बेबुनियाद हैं, वो लोग चार साल से सो रहे थे क्या? आरोप लगाने वाले बाजवा के खिलाफ पहले भी धोखाधड़ी के चार मामले दर्ज हैं और पांचवां दर्ज होने वाला है। वैसे भी उस मामले की जांच मैने नहीं की है और न ही जांच रिपोर्ट पर मेरे हस्ताक्षर हैं।

लीग डीए अश्विनी बेदी का कहना है कि मैं आरोपित को जानता तक नहीं, वे दबाव बना रहे आरोप लगाने वाला खुद लैंड माफिया से जुड़ा हुआ है। उस पर चार पर्चे दर्ज हैं, पांचवें पर्चे की फाइल पुलिस कमिश्नर के टेबल पर पड़ी है। उस पर्चे को दर्ज होने से रोकने के लिए अब वो लोग दबाव बना रहे हैं। सच्चाई तो यह है कि मैं उस व्यक्ति को जानता भी नहीं हूं।


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