पराली न जलाने व किसानों को जागरुक करने वाले डॉ. हरमिंदर को नवाजा
पराली न जलाने व किसानों को जागरुक करने वाले डॉ. हरमिंदर को नवाजा गया है।
जासं, जगराओं : पराली प्रबंधन के क्षेत्र में काम कर रहे गदरी बाबा दुल्ला सिंह ज्ञानी निहाल सिंह फाउंडेशन जलालदीवाल रायकोट के डायरेक्टर व सफल किसान डॉ. हरमिदर सिंह सिद्धू को पराली प्रबंधन के लिए इंडियन काउंसिल ऑफ एग्रीकल्चर एंड रिसर्च और केंद्रीय कृषि विभाग की तरफ से नई दिल्ली में सम्मानित किया गया। एनएएससी कांप्लेक्स नई दिल्ली में हुई नेशनल कांफ्रेस के दौरान केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री परषोतम रुपाला ने डॉ. हरमिदर को नवाजा।
डॉ. हरमिदर और उनकी टीम पांच वर्ष से पराली को न जलाते हुए खेतों में ही जोत रहे हैं। यही नहीं वे रायकोट सब-डिवीजन के नजदीक के गांवों में भी इसके लिए जागरूक कर रहे हैं। वह सीआइआइ फाउंडेशन इंडिया, पीएयू, खेतीबाड़ी व किसान भलाई विभाग, आइसीएआर, सिफट की मदद से किसानों को पराली प्रबंधन की तकनीक सिखाते हैं। उन्होंने मशीनरी बैंक भी बनाए हुए हैं जहां से किसानों को पराली प्रबंधन के लिए मशीनरी उपलब्ध करवाते हैं। पिछले वर्ष उन्होंने 11 गांवों को गोद लेकर 11 हजार एकड़ पराली जलाने से रोकने से बचा सके हैं।
इस बार डॉ. ंहरमिदर सिद्धू और उनकी टीम रायकोट सब-डिवीजन के 34 गांवों को गोद लेकर इस मुहिम को श्री गुरु नानक देव जी के 550वें प्रकाशोत्सव को समर्पित कर जागरूकता फैला रहे हैं। फाउंडेशन के डायरेक्टर डॉ. सिद्धू और तोता सिंह ने बताया कि वे गांव-गांव जाकर किसानों को तकनीकी जानकारियां देकर पराली न जलाने और सही प्रबंधन के बारे में बता रहे हैं। संस्था के प्रयासों से पिछले वर्ष लक्ष्य को पूरा कर लिया गया था। बता दें कि डॉ. हरमिदर सिंह सिद्धू को पंजाब सरकार की ओर से पर्यावरण दिवस पर रोपड़ में करवाए गए समारोह में किसानों को पराली नहीं जलाने और पराली प्रबंधन के लिए फैलाई जा रही जागरुकता को लेकर सम्मानित किया गया था।