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उग्र गन्ना किसानों का हाईवे पर कब्‍जा, बिस्‍तर लगाकर रात भी वहीं गुजारी, यातायात बंद

पंजाब में गन्‍ना किसानों के आंदोलन ने उग्र रूप धारण कर लिया है। अपने गन्‍ना के बकाये के लिए किसानों ने फगवाड़ा-जालंधर नेशनल हाईवे पर डेरा डाल दिया है। उन्‍होंने रात भी वहीं गुजारी।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Published: Wed, 05 Dec 2018 09:22 AM (IST)Updated: Wed, 05 Dec 2018 11:11 AM (IST)
उग्र गन्ना किसानों का हाईवे पर कब्‍जा, बिस्‍तर लगाकर रात भी वहीं गुजारी, यातायात बंद
उग्र गन्ना किसानों का हाईवे पर कब्‍जा, बिस्‍तर लगाकर रात भी वहीं गुजारी, यातायात बंद

जेएनएन, कपूरथला/होशियारपुर। पंजाब में गन्‍ना किसानों के आंदोलन ने उग्र रूप धारण कर लिया है। अपने गन्‍ना के बकाये के लिए किसान चीनी मिलाें के समक्ष धरना देेने के बाद सड़कों पर उतर अाए हैं। हजाराें किसान फगवाड़ा- जालंधर नेशनल हाईवे पर डेरा डाल दिया है। इस कारण बुधवार को भी हाइवे पर यातायात पूर तरह ठप है। किसानों ने मंगलवार की पूरी रात हाइवे पर गुजारी और अब भी बिस्‍तर लगाकर डटे हुए हैं।

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बुधवार को भी हाइवे पार डटे हैं किसान, 417 करोड़ की बकाया राशि को लेकर किसान हुए उग्र

दोआवा क्षेत्र में गन्ना किसानों के आंदोलन से अफरातफरी आैर तनाव की हालत है। गन्ने की 417 करोड़ रुपये की बकाया राशि को लेकर कई दिनों से चीनी मिलों के बाहर धरने पर बैठे किसान मंगलवार को उग्र हो गए थे। कपूरथला में किसानों ने पहले फगवाड़ा के वाहद संधर शुगर मिल के पास धरना दिया। फिर वे फगवाड़ा-जालंधर नेशनल हाईवे पर आ डटे। हजारों की संख्या में किसानों ने मंगलवार को सारी रात बिस्‍तर लगा कर गुजारी।

बुधवार सुबह हाईवे पर जमे किसान।

बुधवार सुबह से भी ऐसी ही हालत बनी हुई है और यातायात पूरी तरह से बाधित है। पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी किसानों को मनाने में सुबह से ही जुटे हुए हैं, लेकिन वे टस से मस होने को तैयार नहीं हैं। उनका कहना है कि उनके बकाये का तुरंत भुगतान किया जाए, इसके बाद ही वे यहां से हटेंगे। हजारों गन्ना किसानों ने पंजाब सरकार की नीतियों के विरुद्ध नारेबाजी कर रहे हैं। किसान नेताओं ने कहा कि कर्जमाफी के नाम पर छला जा रहा है और किसानों के करोड़ों रुपये नहीं देकर उनको मौत की ओर धकेला जा रहा है।

हाईवे की ओर बढ़ रहे किसानों के काफिल को पुलिस ने रोका

नेशनल हाईवे नंबर-1 से लेकर स्थानीय सर्विस सड़कों तक चारों तरफ ट्रैफिक जाम की स्थिति बनी हुई है। दूसरी ओर पुलिस हाईवे की ओर आ रहे किसानों के काफिलाें को रोक रही है। इससे किसानों में रोष है और वे धरने में शामिल होने के लिए हाइवे पर जाने देने की मांग कर रहे हैं। 

फगवाड़ा-जालंधर हाइवे पर डटे किसान।

उधर, होशियापुर जिले के दसूहा में एबी शुगर मिल के बाहर गन्ने से लदीं ट्रालियां लेकर चार दिन से धरने पर बैठे हैं। सोमवार रात को 450 किसानों पर नेशनल हाईवे जाम करने के आरोप में केस भी दर्ज किया गया था। इसके बावजूद किसानों ने धरना जारी रखा। कपूरथला में स्थिति बिगड़ती देख भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। डीसी मोहम्मद तैय्यब व एसएसपी सतिंदर सिंह रात को किसानों से बात करते रहे, लेकिन उन्होंने कहा कि जब तक उन्हें भुगतान नहीं किया जाता, वे नहीं हटेंगे। गुरदासपुर से भी किसान फगवाड़ा पहुंच गए हैं। बुधवार सुबह से भी अधिकारी किसानों से बातचीत मेें लगे हैं।

यह है विवाद

प्राइवेट चीनी मिल मालिक 35 रुपये कम कीमत पर गन्ना खरीदना चाहते हैं। वे यह राशि सरकार की तरफ से देने का दबाव बना रहे हैं। पंजाब सरकार 310 रुपये, उत्तर प्रदेश 320 और हरियाणा सरकार 330 रुपये भाव दे रही है, जबकि प्राइवेट मिल मालिक 275 रुपये प्रति क्विंटल भाव देने पर अड़े हैं।

 

बुधवार को हाईवे पर सभा करते किसान।

बाजवा ने अपनी ही सरकार के खिलाफ दी हाईकोर्ट जाने की चेतावनी

राज्यसभा सदस्य व पंजाब कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष प्रताप सिंह बाजवा ने एक बार फिर अपनी ही सरकार की कथनी-करनी पर सवाल खड़े कर दिए हैं। बाजवा ने प्राइवेट चीनी मिलों को चालू न करवाने और पिछले साल की बकाया राशि का ब्याज किसानों को देने की मांग को लेकर पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट जाने की चेतावनी दी। उन्होंने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि आजादी के बाद पहली बार पंजाब के लोगों ने कांग्रेस को दो तिहाई बहुमत दिया है। लोगों ने कांग्रेस पर विश्वास किया है। कैप्टन समस्या का समाधान करें। वहीं, विवाद बढ़ता देख मंगलवार को चंडीगढ़ में आप विधायकों ने राज्यपाल वीपी सिंह बदनौर से मुलाकात की और भुगतान के मामले पर कानून बनाने की मांग की।


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