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सीमावर्ती क्षेत्रों के विद्यार्थियों के लिए वरदान बना एजुकेशन व‌र्ल्ड

कॉलेज रोड पर स्थित एजुकेशन व‌र्ल्ड पिछले पांच सालों से जेईई और नीट जैसी अनेकों प्रतियोगी परीक्षाओं में कई सिलेक्शन करवाकर सीमावर्ती क्षेत्रों के लोगों के लिए वरदान साबित हो रहा है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 14 Apr 2019 04:19 PM (IST)Updated: Sun, 14 Apr 2019 04:19 PM (IST)
सीमावर्ती क्षेत्रों के विद्यार्थियों के लिए वरदान बना एजुकेशन व‌र्ल्ड
सीमावर्ती क्षेत्रों के विद्यार्थियों के लिए वरदान बना एजुकेशन व‌र्ल्ड

संवाद सहयोगी, गुरदासपुर : कॉलेज रोड पर स्थित एजुकेशन व‌र्ल्ड पिछले पांच सालों से जेईई और नीट जैसी अनेकों प्रतियोगी परीक्षाओं में कई सिलेक्शन करवाकर सीमावर्ती क्षेत्रों के लोगों के लिए वरदान साबित हो रहा है। एजुकेशन व‌र्ल्ड की स्थापना अनुज महाजन और सोनिया सच्चर ने 26 मई 2014 को की थी।

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मैनेजिग पार्टनर की निगरानी और अनुभवी तथा विषय विशेषज्ञ अध्यापकों की टीम के अंतर्गत एजुकेशन व‌र्ल्ड पिछले पांच सालों से अलग अलग अखबारों की सुर्खियां में छाया हुआ है। इसमें सुमित शर्मा ने एमबीबीएस की परीक्षा में नेशनल लेवल पर 1504 रेंक, मेघा ने आइआइटी की परीक्षा में 2199 रैंक हासिल किया है। इसके साथ-साथ नीट 2018 की परीक्षाओं में 20 से अधिक विद्यार्थियों ने सफल होकर संस्था का नाम रोशन किया है। इसके अलावा निरप्रीत कोबिद और तरनवीर सिंह ने एनडीए की परीक्षा पास की है। संस्था के 11वीं व 12वीं मेडिकल, नॉन मेडिकल के बोर्ड के नतीजे भी शत प्रतिशत रहे हैं। संस्था को एक बड़ी विशेषता है कि विद्यार्थियों के बोर्ड पेपरों की सब्जैक्टिव तैयारी के साथ साथ नीट और जेईई जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं की अब्जैक्टिव तैयारी भी करवाई जाती है। प्रतियोगी परीक्षाओं में समय की महत्ता देखते हुए विद्यार्थियों की सफलता को पुख्ता करने के लिए उनके रेगुलर टेस्ट भी लिए जाते हैं।

गौरतलब है कि संस्था के मैनेजिग पार्टनर अनुज महाजन एनआइटी जालंधर से बीटेक हैं और उन्हें फीजिक्स पढ़ाने का 19 सालों का अनुभव है। साथ ही सोनिया सच्चर एमएससी केमिस्ट्री हैं और उन्हें केमिस्ट्री पढ़ाने का 21 साल का अनुभव है। इसके अलावा मैथ्स के लिए सीमा महाजन हैं, जोकि पंजाब यूनिवर्सिटी से एमएससी मैथ्स हैं और उन्हें भी 13 साल का अनुभव है। संस्था में दिल्ली, चंडीगढ़ और कोटा के पेपरों की कोचिग एक तिहाई से भी कम फीसों में दी जाती है,क्योंकि संस्था का मकसद मुनाफा कमाना नहीं, बल्कि समाज भलाई करना है।


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