अरबों की जमीन पर उद्योगपतियों के कब्जों को उजागर करने वाले ADC संधू का तबादला
अरबों रुपये की सैकड़ों एकड़ पंचायती जमीन पर उद्योगपतियों के अवैध कब्जों का मामला उजागर करने वाले फतेहगढ़ साहिब के ADC (विकास) संधू का तबादला कर दिया गया है।
फतेहगढ़ साहिब [धरमिंदर सिंह]। अमलोह उपमंडल में अरबों रुपये की सैकड़ों एकड़ पंचायती जमीन पर उद्योगपतियों के अवैध कब्जों का मामला उजागर करने वाले फतेहगढ़ साहिब के ADC (विकास) जगविंदरजीत सिंह संधू का तबादला कर दिया गया है। संधू इस मामले से पहले डिप्टी कमिश्नर अमृत कौर गिल से विवाद के कारण भी चर्चा में रहे थे।
ADC से संबंधित दोनों प्रकरण मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के दरबार तक पहुंच गए थे। माना जा रहा है कि इसी कारण ADC संधू को फतेहगढ़ साहिब से बरनाला भेज दिया गया। अब वे बरनाला में ADC (विकास) का कार्यभार संभालेंगे। फिलहाल सरकार ने संधू की जगह किसी अधिकारी की तैनाती नहीं की है।
फतेहगढ़ साहिब के जिला विकास व पंचायत अधिकारी अमरीक सिंह सिद्धू को ADC (विकास) का अतिरिक्त कार्यभार सौंपा गया है। ADC संधू का तबादला DC से विवाद के करीब एक महीना और जमीन पर कब्जों को उजागर करने के 20 दिन बाद किया गया है। इस तबादले के बाद यह चर्चा भी छिड़ गई है कि अब अरबों रुपयों की जमीन पर अवैध कब्जों को छुड़वाने की कोशिश पहले की तरह तेज रहेगी या फिर इस ठंडे बस्ते में डाल दिया जाएगा।
जांच कमेटी में शामिल थे ADC संधू
ADC संधू ने मंत्री बाजवा को पत्र भेजकर अमलोह में अरबों रुपये की पंचायती जमीन पर उद्योगपतियों के कब्जों को उजागर करते हुए उच्च स्तरीय जांच की मांग की थी। मंत्री ने पांच सदस्यीय जांच कमेटी बनाई थी जिसमें ADC संधू भी शामिल थे।
DC के साथ विवाद में हड़ताल पर चले गए थे सात जिलों के कर्मचारी
14 नवंबर को गांव ईसरहेल के गुरुद्वारे में 550वें प्रकाश उत्सव के दौरान DC गिल और ADC संधू में विवाद हो गया था। ADC ने DC पर अभद्र भाषा का प्रयोग करने का आरोप लगाया था और इसे लेकर सात जिलों के ग्रामीण विकास व पंचायत अधिकारी और कर्मचारी हड़ताल पर चले गए थे। इस मामले को पंचायत मंत्री तृप्त राजिंदर सिंह बाजवा ने चंडीगढ़ स्थित अपने निवास पर दोनों पक्षों को बुलाकर सुलझाया था।
अधिकारियों के बाद उद्योगपतियों को खटकने लगे थे संधू
चर्चा है कि अमलोह के उद्योगपतियों का एक प्रतिनिधिमंडल अपने चहेते मंत्रियों से मिला था। उन्होंने ADC को जांच कमेटी से बाहर रखने या उनके तबादले की मांग रखी थी। हालांकि सरकार ADC संधू के तबादले को प्रबंधकीय आधार पर किया तबादला बता रही है, लेकिन सियासी गलियारों में यह चर्चा खूब है कि संधू को मुंह खोलने की सजा मिली है। कुछ अधिकारियों के बाद संधू अब उद्योगपतियों को भी खटकने लगे थे।
सरकार जहां कहेगी, ड्यूटी करनी ही पड़ेगी : संधू
ADC संधू का कहना है कि ड्यूटी है, जहां सरकार के आदेश होंगे, करनी ही पड़ेगी। इसके अलावा उन्होंने अपने तबादले पर टिप्पणी करने से मना कर दिया।
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