चुनाव के लिए बढ़ी सक्रियता, निगाह बेअदबी कांड के अंजाम पर, बदला पुलिस का सिस्टम
विधानसभा चुनाव से पहले पंजाब सरकार बरगाड़ी बेअदबी कांड से जुड़ी घटनाओं की सभी जांच हर हाल में समय रहते पूरा कर आरोपितों को अदालत में खड़ा कर लेना चाहती है।
फरीदकोट [प्रदीप कुमार सिंह]। पंजाब विधानसभा का अगला चुनाव 2022 में होना है। इसमें अभी काफी वक्त है, लेकिन चुनाव में जाने से पहले प्रदेश सरकार बरगाड़ी बेअदबी कांड से जुड़ी घटनाओं की सभी जांच हर हाल में समय रहते पूरा कर आरोपितों को अदालत में खड़ा कर लेना चाहती है। इसके संकेत फरीदकोट पुलिस सिस्टम में किए गए बड़े फेरबदल से मिल रहे हैैं।
तीन जून को दोपहर 12 बजे से लेकर शाम सात बजे तक फरीदकोट से लेकर चंडीगढ़ तक घटनाक्रम बदले।फरीदकोट के साथ मोगा व श्री मुक्तसर साहिब को मिलाकर नया आइजी जोन बनाए जाने की घोषणा कर दी गई है। इसी दिन फरीदकोट के एसएसपी मंजीत सिंह ढेसी तबादला पीएपी जालंधर कर दिया गया। उनकी जगह पर गुरदासपुर के एसएसपी सरवनदीप सिंह को तैनात किया गया। फरीदकोट रेंज के पहले आइजी जोन के प्रभारी के रूप में अगले दिन ही आइपीएस डॉ. कौस्तुभ शर्मा ने पदभार संभाल लिया, तो पांच जून की दोपहर एसएसपी सरवनदीप सिंह ने।
इसे संयोग कहा जाए या फिर रणनीति का हिस्सा, जिस समय फरीदकोट के पुलिस सिस्टम को लेकर बड़े स्तर पर फेरबदल किया जा रहा था, उसी समय बेअदबी कांड से जुड़ी घटनाओं की जांच कर रहे एसआइटी के आइजी कुंवर विजय प्रताप सिंह भी फरीदकोट अपने कैंप ऑफिस में अपनी टीम के साथ सक्रिय रहे। यह अलग बात कि वह अपने तरीके से मामले की जांच को आगे बढ़ा रहे हैं।
राजनेताओं की कोई प्रतिक्रिया नहीं
फरीदकोट पुलिस सिस्टम में हुए बड़े फेरबदल को लेकर राजनीतिक दलों की कोई प्रतिक्रिया अभी तक नहीं आई है, लेकिन बदल रहे घटनाक्रम पर राजनेताओं की निगाह है। विपक्षी नेताओं के बीच दबी जुबान यह जरूर कहा जा रहा है कि फरीदकोट आइजी जोन बनाए जाने की कोई न तो सियासी मांग थी, और न ही कानून-व्यवस्था को लेकर ऐसी कोई स्थिति। ऐसे में सरकार ने आइजी जोन बनाने का एकाएक फैसला क्यों लिया, यह समझ से परे है।
पिछले चुनाव में बड़ा मुद्दा था बेअदबी कांड
बेअबदी कांड को नजदीक से देखने वालों का मानना है कि जिस प्रकार से जून के पहले सप्ताह में मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा बयान दिए जा रहे हैं उससे यह साफ होता जा रहा है कि वह 2022 की तैयारी लग गए हैं। 2017 के विधानसभा चुनाव में बरगाड़ी बेअदबी कांड बड़ा मुद्दा था। इसका प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से शिअद को नुकसान तो कांग्रेस को फायदा मिला था। ऐसे में अब जबकि कांग्रेस सरकार बने तीन साल से ज्यादा का समय बीत चुका है, तो सरकार इस मामले का शीघ्र निपटारा कर लेना चाहती है। विधानसभा चुनाव में किए वादे को पूरा कर अगले चुनाव में जनता के बीच जाना चाहती है।