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वेतन आयोग की अवधि बढ़ाने के खिलाफ सड़क पर उतरे मुलाजिम और पेंशनर्स

पंजाब सरकार की तरफ से वेतन आयोग की अवधि बढ़ाने, ग्रामीण सेहत केंद्रों के निजी हाथों में सौंपने की तैयारी करने, मुलाजिम वर्ग को राहत देने की जगह वेतन कटौती करने के फैसले करने के खिलाफ पंजाब यूटी मुलाजिम एंड पेंशनर संघर्ष कमेटी के आह्वान पर बुधवार को विभिन्न विभागों में कार्यरत कर्मियों और पेंशनरों ने मिनी सचिवालय में डीसी दफ्तर के सामने रोष धरना दिया।

By JagranEdited By: Published: Thu, 31 Jan 2019 12:04 AM (IST)Updated: Thu, 31 Jan 2019 12:04 AM (IST)
वेतन आयोग की अवधि बढ़ाने के खिलाफ सड़क पर उतरे मुलाजिम और पेंशनर्स
वेतन आयोग की अवधि बढ़ाने के खिलाफ सड़क पर उतरे मुलाजिम और पेंशनर्स

जागरण संवाददाता, फरीदकोट : पंजाब सरकार की तरफ से वेतन आयोग की अवधि बढ़ाने, ग्रामीण सेहत केंद्रों के निजी हाथों में सौंपने की तैयारी करने, मुलाजिम वर्ग को राहत देने की जगह वेतन कटौती करने के फैसले करने के खिलाफ पंजाब यूटी मुलाजिम एंड पेंशनर संघर्ष कमेटी के आह्वान पर बुधवार को विभिन्न विभागों में कार्यरत कर्मियों और पेंशनरों ने मिनी सचिवालय में डीसी दफ्तर के सामने रोष धरना दिया। प्रदर्शनकारियों ने पंजाब सरकार के खिलाफ शहर में रोष मार्च निकाला और जिला खजाना दफ्तर के सामने पुतला फूंक कर जोरदार नारेबाजी की।

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मुलाजिम नेता ज¨तदर कुमार, प्रदीप ¨सह बराड़, किरण प्रकाश मेहता, अमरीक ¨सह संधू, नरिन्दर शर्मा, रा¨जदर ¨सह सरां, अध्यापक नेता प्रेम चावला, गुरप्रीत ¨सह रंधावा, पेंशनर नेता बलदेव ¨सह सहदेव, अशोक कौशल, कुलवंत ¨सह चानी, वीरइंद्रजीत ¨सह पुरी, नछत्तर ¨सह भाणा, जगजीत ¨सह मचाकी, रमेश ढैपई, हरपाल ¨सह मचाकी, हरप्रीत ¨सह घुमियारा, हरचरन ¨सह संधू, मलकीत ¨सह संधू, गुर¨वदर ¨सह विर्क ,सिमरजीत ¨सह बराड़,जगदीश कुमार, बिक्कर ¨सह इंद्रजीत ¨सह खीवा, हर¨जदर ¨सह धालीवाल ,शिव नाथ दर्दी, मिट्ठू ¨सह, सुरजीत ¨सह ढुड्डी, रेशम ¨सह वांदर जटाना, रणजीत ¨सह कंवल और अन्य वक्ताओं ने कहा कि पंजाब सरकार मुलाजिम व मजदूर विरोधी नीतियों को अपना रही है। स्कूलों, अस्पतालों समेत अन्य सरकारी विभागों को निजी हाथों में सौंपा जा रहा है। प्रदर्शन के माध्यम से सभी कच्चे अध्यापकों और मुलाजिमों को पूरे वेतन के साथ रेगूलर करने, खजाने में भुगतान पर लगी पाबंदी हटाकर बिल पास करने, मुलाजिमों और पेंशनरों के लिए जनवरी 2017 से डीए की बकाया पड़ीं चार किश्तें जारी करने, डीए का बकाया तुरंत देने, 6वें वेतन आयोग को रिपोर्ट देने के लिए समयबद्ध करने, मेडिकल भत्ता 2500 रुपये मासिक करने, डीए को वेतन व पेंशन में मर्ज करने, पूरानी पेंशन स्कीम बहाल करने, पंजाब में कर्मियों से वसूला जा रहा 200 रूपये प्रति माह प्रोफेशनल टैक्स बंद करने, नवंबर 2016 को पिछली विधान सभा की तरफ के पास एक्ट मुताबिक कच्चे और ठेका आधारित मुलाजिनों को वेतन स्केल पर रेगुलर करने के साथ-साथ सभी विभागों में खाली पदों पर स्थायी भर्ती करने, आउट सोर्स अधीन कार्यरत कर्मियों को विभाग में शामिल करके पूरा वेतन देने और हर किस्म की विकटेमाईजेशन रद्द करने की मांगें रखी गई। प्रदर्शन के दौरान इस बात का गंभीर नोटिस लिया गया कि पंजाब की कैप्टन सरकार भी पिछली अकाली भाजपा सरकार के नक्शे कदमों पर चलते हुए मुलाजिमों और पेंशनरों के हक दबा रही है। महंगाई भत्ते की केंद्र की तर्ज पर बनतीं चार किश्तों, 22 महीनों का बकाया और संशोधित वेतन स्केल नहीं दिए जा रहे हैं। इस मौके पर बजट सेशन में फरवरी के दूसरे हफ्ते चंडीगढ़ में हल्ला बोल रैली करने और विधान सभा का घेराव करने की चेतावनी दी गई। साथ ही लोकसभा चुनाव में शासक पार्टी का विरोध करने का फैसला किया गया। इस मौके पर रमेश कुमार,सुखचैन ¨सह , बलवंत गक्खड़, पंकज कुमार, दीपक नारंग,सूबा ¨सह रामेआना, गुरमीत ¨सह हरी नौ, बल¨वदर शर्मा, नछत्तर ¨सह, नरेश शर्मा ,बल¨वदर ¨सह बराड़, गुरमीत कौर, सुख¨वदर ¨सह, जसवीर कौर, रा¨जदर पाल कौर, बाबू ¨सह ,सोम नाथ अरोड़ा, अमीं चंद आदि भी हाजिर हुए।


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