Move to Jagran APP

लंबी राजनीतिक चुप्पी के बाद नवजोत सिंह सिद्धू फिर होंगे सक्रिय, किसानों के साथ धरने पर बैठेंगे

नवजोत सिंह सिद्धू एक बार फिर राजनीति में सक्रिय होंगे। सिद्धू पिछले 21 जुलाई 2019 के बाद ट्विटर पर सक्रिय हुए। इसमें उन्होंने किसान और किसानी पर बात ही। उनके नजदीकी परगट सिंह का कहना है कि सिद्धू अब किसान आंदोलन में शामिल होंगे।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Mon, 21 Sep 2020 05:43 PM (IST)Updated: Mon, 21 Sep 2020 05:43 PM (IST)
लंबी राजनीतिक चुप्पी के बाद नवजोत सिंह सिद्धू फिर होंगे सक्रिय, किसानों के साथ धरने पर बैठेंगे
पूर्व क्रिकेटर व कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू। (फाइल फोटो)

चंडीगढ़ [इन्द्रप्रीत सिंह]। लंबे समय से राजनीतिक गतिविधियों से दूरी बनाकर बैठे पूर्व कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू (Navjot Singh Sidhu) भी किसानों के साथ उनके धरने में बैठेंगे। हालांकि इस बारे में सिद्धू ने कोई खुलासा नहीं किया है कि कब से ऐसा करेंगे, लेकिन उनके निकटवर्ती रहे और कांग्रेस के विधायक परगट सिंह ने कहा है कि सिद्धू किसानों के धरनों में शामिल होंगे। परगट ने कहा कि मेरी उनसे बात हुई थी और उन्होंने मुझसे कहा कि आने वाले दिनों में जहां-जहां भी किसानों का आंदोलन होगा वह उसमें शामिल होंगे।

loksabha election banner

काबिलेगौर है कि तीन दिन पहले नवजोत सिंह सिद्धू ने किसानों की संघर्ष को समर्थन दिया था। पूरे सवा साल बाद ट्विटर पर सक्रिय होते हुए उन्होंने किसानों के मुद्दे पर शायराना अंदाज में टिप्पणी की। लिखा कि जंग की तूती बोल रही है। उन्होंने लिखा कि पंजाब, पंजाबियत और हर पंजाबी किसान के साथ है।

सिद्धू पिछले 21 जुलाई 2019 के बाद सक्रिय हुए थे। मंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद वह ट्विटर पर चुप थे। दो दिन पहले पंजाबी में किए ट्वीट पर नवजोत सिं सिद्धू ने लिखा किसानी पंजाब की रूह, शरीर के घाव भर जाते हैं पर आत्मा के नहीं। हमारे अस्तित्व पर हमला बर्दाश्त नहीं। जंग की तूती बोलती है- इंकलाब जिंदाबाद। पंजाब, पंजाबियत और हर पंजाबी किसान के साथ।

सिद्धू ने इसके बाद एक और ट्वीट किया, जिसमें उन्होंने लिखा, ''सरकारें तमाम उम्र यही भूल करती रही, धूल उनके चेहरे पर थी, आईना साफ करती रही।'' सिद्धू का यह ट्वीट ऐसे समय में आया है, जब राज्य में किसानों के मुद्दे पर जमकर सियासत हो रही है।

बता दें, पंजाबभर में किसान खेती विधेयकों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं। पटियाला और बादल गांव में तो पक्के मोर्चे लगे हुए हैं, जबकि 25 सितंबर को किसानों ने पंजाब बंद का आह्वान कर दिया है। यही नहीं, 24 से लेकर 26 तक रेल रोकने का भी ऐलान किया गया है। ऐसे में नवजोत सिद्धू कहां किसानों को समर्थन देंगे। इस बारे में अभी उन्होंने अपने पत्ते नहीं खोले हैं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.