आम आदमी पार्टी ने कहा, हरियाणा को शारदा-यमुना नहर से मिले पानी
आम आदमी पार्टी ने एसवाइएल नहर विवाद को सुलझाने का नया फार्मूला सुझाया है। सतलुज यमुना लिंक नहर की जगह शारदा यमुना लिंक नहर बनाकर हरियाणा को पानी देने का सुझाव दिया है।
जेएनएन, चंडीगढ़। सतजुल यमुना लिंक (एसवाइएल) नहर विवाद पर आम आदमी पार्टी ने अब नया रास्ता सुझाया है। पार्टी ने कहा कि पंजाब के पास फालतू पानी नहीं है। ऐसे में हरियाणा को सतलुज यमुना लिंक नहर से नहीं शारदा-यमुना लिंक नहर से पानी दिया जाए। इस तरह पूरे विवाद का हल हो जाएगा।
आम आदमी पार्टी के प्रमुख नेता एडवोकेट एचएस फूलका ने कहा है कि पंजाब के पास हरियाणा को देने के लिए फालतू पानी नहीं है। हरियाणा को तय योजना के अनुसार शारदा-यमुना लिंक नहर से पानी देने पर कार्य होना चाहिए। फूलका ने कहा कि केंद्र सरकार को 1976 के इंदिरा गांधी द्वारा जारी किए आदेश काे वापस लेकर मामला सुलझाना चाहिए।
2002 में बनी योजना के तहत केंद्र सरकार बनवाए शारदा-यमुना लिंक नहर
उन्होंने कहा कि 2002 में बनी योजना के अनुसार केंद्र सरकार शारदा-यमुना लिंक नहर बनाने के लिए राजी हुई थी। यह नहर उत्तराखंड के चंपावत जिले से बह रही शारदा नदी से करनाल के नजदीक यमुना नदी में मिलेगी। सुप्रीम कोर्ट ने भी केंद्र सरकार को इस नहर के निर्माण का आदेश दिया था। उत्तराखंड में बाढ़ के लिए इस नदी का पानी जिम्मेदार है, जिससे हरियाणा में जलापूर्ति की जा सकती है। इससे उत्तराखंड की बाढ़ की समस्या हल हाे जाएगी।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ बातचीत कर शारदा-यमुना लिंक का निर्माण शुरु करवाना चाहिए। इससे पंजाब और हरियाणा का तनाव खत्म होगा। फूलका ने कहा कि अकाली-भाजपा और कांग्रेस की सरकारों द्वारा शारदा-यमुना नहर को न बनाने की नीयत ही पंजाब और हरियाणा में पैदा हुए तनाव के लिए जिम्मेदार है।