Chandigarh News: हरियाणा के काॅलेजों को पंजाब यूनिवर्सिटी से मान्यता देना भाजपा-आरएसएस की चाल: शिअद
शिरोमणि अकाली दल के जनरल सेक्रेटरी परमबंस सिंह रोमाणा ने आज कहा है कि पंजाब विश्वविद्यालय के साथ अपने काॅलेजों को संबद्ध करने के हरियाणा के कदम को यूनिवर्सिटी पर नियंत्रण करने और पंजाब के अद्वितीय इतिहास और संस्कृति को कमजोर करने के लिए भाजपा-आरएसएस की चाल करार दिया है।
चंडीगढ़, राज्य ब्यूरो : शिरोमणि अकाली दल के जनरल सेक्रेटरी परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा है कि पंजाब विश्वविद्यालय के साथ अपने काॅलेजों को संबद्ध करने के हरियाणा के कदम को यूनिवर्सिटी पर नियंत्रण करने और पंजाब के अद्वितीय इतिहास और संस्कृति को कमजोर करने के लिए भाजपा-आरएसएस की चाल करार दिया है।
मान पर भाजपा के साथ मिलीभगत के लगाए आरोप
पार्टी दफ्तर में पत्रकारों से बातचीत करते हुए अकाली नेता ने मुख्यमंत्री भगवंत मान को पंजाब विश्वविद्यालय की स्वायतता छीनने और चंडीगढ़ पर पंजाब के अधिकार को कमजोर करने के लिए भाजपा के साथ मिलीभगत करने के लिए कड़ी निंदा की है।
मान ने खट्टर की उपस्थिति नहीं जताई आपत्ति
उन्होंने कहा, ‘ मुख्यमंत्री ने पंजाब विश्वविद्यालय के संबंध में राज्यपाल द्वारा बुलाई गई मीटिंग में हरियाणा के मुख्यमंत्री की उपस्थिति पर आपत्ति नहीं जताई, जबकि यह जानते हुए कि 1978 में यूनिवर्सिटी से अपने काॅलेजों की स्वैच्छिक अस्वीकृति के बाद पंजाब यूनिवर्सिटी में हरियाणा की कोई हिस्सेदारी नहीं है।
जाब यूनिवर्सिटी देश की एकमात्र स्वायत्त विश्वविद्यालय
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान पंजाब के राज्यपाल के सुझावों पर मूकदर्शक बने रहे, जिन्होंने जोर देकर कहा कि हरियाणा के काॅलेजों को पीयू से मान्यता दी जानी चाहिए। रोमाणा ने कहा कि पंजाब यूनिवर्सिटी देश की एकमात्र स्वायत्त यूनिवर्सिटी है, जिसमें सीनेट और सिंडिकेट में लोकतांत्रिक रूप से निर्वाचित निकाय थे।
पीयू में मौजूदा व्यवस्था ने पंजाब के कालेजों की मान्यता रद्द करने की वकालत करके इस प्रणाली को बदलने की कोशिश की, लेकिन अकाली दल ने इसका कड़ा विरोध किया है।
भाजपा- RSS पर लगाए आरोप
उन्होने कहा, ‘‘अब हरियाणा के महाविद्यालयों को पीयू से मान्यता देना वर्तमान कदम का मकसद भाजपा-आर एस एस गठबंधन के प्रति वफादार हरियाणा के प्रतिनिधियों को सीनेट और सिंडिकेट में लाना तथा साथ ही आरएसएस की विचारधारा के प्रति सहानुभूति रखने वाले शिक्षण कर्मचारियों की नियुक्ति करना है।