कभी भी हो सकती है पानी की किल्लत, वाटर स्टोरेज टैंक बनवाने से प्रशासन का इंकार Chandigarh News
इस समय नगर निगम के पास आधे दिन की सप्लाई करने का स्टोरेज टैंक है। नगर निगम इसे पूरे दिन का करना चाहता है लेकिन प्रशासन ने इसके लिए 37 करोड़ देने से साफ इंकार कर दिया।
राजेश ढल्ल, चंडीगढ़। शहर में आधे दिन की पानी की सप्लाई का स्टोरेज टैंक नहीं बनेगा। ऐसे में रिपेयर के कारण कट लगने पर शहरवासियों को परेशानी का सामना करना ही पड़ेगा। जबकि स्मार्ट सिटी के तहत शहरवासियों को 24 घंटे पानी की सप्लाई देेने का सपना दिखाया जा रहा है। प्रशासन ने नगर निगम को स्टोरेज टैंक बनाने के लिए 37 करोड़ रुपये की राशि देने से साफ इंकार कर दिया है। प्रशासन ने नगर निगम को कहा है कि दिसंबर माह में जो रिवाइज बजट केंद्र सरकार को भेजा जाएगा उसमे इस राशि की मांग की जाए। पिछले साल नवंबर माह में नगर निगम ने सेक्टा-39 वाटर वर्कस में 45 एमजीडी पानी की सप्लाई स्टोर करने के लिए टैंक का निर्माण करने का प्रस्ताव पास किया था। वित्तीय हालत खस्ता होने के लिए नगर निगम ने यह राशि प्रशासन से मांगी थी। जिसे प्रशासन ने देने से मना कर दिया है।
इस समय नगर निगम के पास आधे दिन की सप्लाई करने का स्टोरेज टैंक है। नगर निगम इसे पूरे दिन का करना चाहता है। जब कभी कजौली वाटर वक्र्स के पाइपों की लीकेज के कारण रिपेयर का काम होता है तो पानी की सप्लाई शहर में नहीं होती है। इस स्टोरेज टैंक से ही काम चलाया जाता है।कजौली वाटर वर्कस के पहले चार फेज की पाइपें कई जगह से लीक कर रही है। जब जब दिक्कत ज्यादा बढ़ जाती है तो रिपेयर का काम किया जाता है। इसलिए नगर निगम चाहता था कि रिपेयर के कारण कम से कम एक दिन की पानी की सप्लाई शहरवासियों को मिल जाए ताकि लोगों को दिक्कत का सामना न करना पड़े। इस समय 45 एमजीडी पानी स्टोर करने का नगर निगम के पास टैंक है।
प्रतिदिन मिलता है कि 80 एमजीडी पानी
इस समय शहरवासियों को प्रतिदिन 80 एमजीडी पानी की सप्लाई की जाती है। 58 एमजीडी की सप्लाई कजौली वाटर वक्र्स के पहले चार फेज से होती है जबकि 22 एमजीडी पानी की सप्लाई 225 ट्यूबवैल से होती है। गर्मी में पानी की मांग बढ़कर 110 एमजीडी पहुंच जाती है।इसलिए नगर निगम की ओर से पांचवे और छठे फेज का निर्माण किया जा रहा है जिसका पंपिंग मशीन से टेस्टिंग का काम किया जा रहा है। इन दो नए फेज से चंडीगढ़ को 29, चंडीमंदिर और पंचकूला को तीन तीन एमजीडी पानी मिलेगा। इस प्रोजेक्ट में पहले से काफी देरी हो चुकी है। इन दो नए फेज की रिपेयर के कारण भी इस साल अब तक दस बार भाखड़ा से कजौली वाटर वक्र्स तक पानी की सप्लाई रोकी गई, जिस कारण लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा।
साल में 100 से ज्यादा बार लगते हैं कट
कजौली वाटर वक्र्स की पाइपों की रिपेयर या अन्य कारण से साल में 100 से ज्यादा बार पानी का कट लगाया जाता है। कुछ घंटे की रिपेयर के कारण भी शहर की पाइपें खाली हो जाती है। कुछ घंटे की रिपेयर का असर शहर में दो से तीन दिन तक रहता है। नगर निगम के अनुसार अगर आधे दिन का और स्टोरेज बढ़ जाए तो काफी दिक्कत दूर हो जाएगी।
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