रिटर्न और टैक्स जमा नहीं कराने पर हेडमास्टर्स सैलून को 85 लाख का नोटिस Chandigarh News
बीते एक साल से हेड मास्टर्स सैलून ने न तो अपनी रिटर्न भरी थी। इसके अलावा टैक्स भी जमा नहीं कराया था। जिस पर एक्साइज डिपार्टमेंट ने अब तक की सख्त कार्रवाई की है।
चंडीगढ़, जेएनएन। यूटी एक्साइज एंड टैक्सेशन डिपार्टमेंट ने टाइम पर रिटर्न न भरने और टैक्स न जमा कराने पर सख्त कार्रवाई की है। सेक्टर-8 स्थित शहर के नामी सैलून हेडमास्टर्स को एक्साइज डिपार्टमेंट ने 85 लाख रुपये का रिकवरी नोटिस भेजा है। बीते एक साल से हेड मास्टर्स सैलून ने न तो अपनी रिटर्न भरी थी। इसके अलावा टैक्स भी जमा नहीं कराया था। जिस पर एक्साइज डिपार्टमेंट ने अब तक की सख्त कार्रवाई की है। एक्साइज डिपार्टमेंट ने हेडमास्टर्स को रिकवरी नोटिस भेजकर 30 दिन के अंदर अपना बकाया टैक्स एवं लेट फीस जमा कराने के लिए कहा है। एईटीसी आरके चौधरी ने बताया कि डिपार्टमेंट की ओर से पहले भी कई बार हेडमास्टर्स सैलून को टाइम पर रिटर्न भरने और टैक्स जमा न कराने को लेकर चेतावनी जारी की गई थी।
सितंबर 2018 से नहीं भरा जीएसटीआर 3बी रिटर्न
एईटीसी चौधरी ने बताया कि सितंबर 2018 से हेडमास्टर्स सैलून ने जीएसटीआर 3बी रिटर्न नहीं भरा है। जबकि रिटर्न भरना टाइम पर जरूरी है। जीएसटीआर 3-बी फार्म में ट्रेडर को खरीदारी और बिक्री का पूरा आंकड़ा पेश करना होता है जिस पर ट्रेडर्स को टैक्स जमा कराना होता है। सेवाएं मुहैया कराने वाले ट्रेडर्स, कंपोजिशन डीलर, ऑनलाइन सप्लायर और डाटाबेस का काम करने वाले ट्रेडर्स को जीएसटीआर 3-बी रिटर्न भरने की जरूरत नहीं है। आबकारी एवं कराधान विभाग के अधिकारियों की मानें तो जीएसटी काउंसिल की ओर से तय किया गया है कि समय पर जीएसटीआर 3-बी नहीं भरने पर रेगुलर करदाता को 18 प्रतिशत सालाना के हिसाब से पेनल्टी भरनी पड़ती है यानी जितने दिन जीएसटीआर 3-बी रिटर्न भरने में करदाता देरी करेंगे, उन्हें हर दिन की पेनल्टी भी जमा करानी होगी।
पेनल्टी प्रोसिडिंग शुरू करेगा डिपार्टमेंट
अगर हेडमास्टर्स ने 30 दिन के अंदर अपना बकाया टैक्स व लेट फीस जमा नहीं कराई। डिपार्टमेंट की ओर से पेनल्टी प्रोसिडिंग भी साथ में शुरू कर दी जाएगी। 18 प्रतिशत के हिसाब से टाइम पर रिटर्न न भरने, टैक्स न जमा कराने को लेकर पेनल्टी भी देनी पड़ेगी। डीसी मनदीप सिंह बराड़ ने शहर के चार सर्विस सेक्टर्स की कमाई का पूरा रिकॉर्ड खंगालने के ऑर्डर दिए हैं। इन चारों सर्विस सेक्टर से एक्साइज एंड टैक्सेशन डिपार्टमेंट को कितना टैक्स आ रहा है। इन सर्विस सेक्टर की मौजूदा स्थिति क्या है। इन सेक्टर्स में कितना टर्नओवर आ रहा है और कितना टैक्स जमा कराया जा रहा है। इन सबका रिकॉर्ड अब एक्साइज एंड टैक्सेशन डिपार्टमेंट खंगालेगा। इन सर्विस सेक्टर्स में शहर के सभी कोचिंग इंस्टीट्यूट्स, होटल इंडस्ट्री, बूटिक सेंटर और मैनपावर सप्लाई एजेंसी शामिल हैं।
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