स्टेशन से 400 लीटर डीजल चोरी, स्टेशन मास्टर बन रहे चोरी से अनजान
रेलवे अधिकारी से लेकर कर्मचारी तक कोई भी कुछ बोलने को तैयार नहीं है।
जासं, बठिडा : बीती 11 अगस्त को रेलवे स्टेशन से चोरी हुए 400 लीटर डीजल चोरी के मामले में रेलवे अधिकारी से लेकर कर्मचारी तक कोई भी कुछ बोलने को तैयार नहीं है। आरपीएफ मामले की जांच करने की बात कहकर अपनी जिम्मेवारी से भाग रही है, वहीं बठिडा रेलवे स्टेशन मास्टर इस पूरे मामले से अपने आप को पूरी तरह अनजान बता रहे है। स्टेशन मास्टर का कहना है कि कोई डीजल चोरी हुआ है, उन्हें इसकी जानकारी नहीं है। स्टेशन मास्टर का यह बयान गले से नहीं उतर रहा है, जबकि चोरी की इस घटना का रेलवे के छोटे कर्मचारी से लेकर बड़े अधिकारी तक इसकी जानकारी है और पूर्व पंद्रह दिनों से आरपीएफ बठिडा इसकी जांच में जुटी हुई है और स्टेशन मास्टर को चोरी का न पता हो, ऐसा संभव ही नहीं है। उधर, आरपीएफ के पोस्ट कमांडर इंस्पेक्टर जगराज सिंह का कहना है कि उन्होंने लोको विभाग की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है और मामले की जांच की जा रही है। डीजल किसने चोरी किया है, इसके बारे में अभी तक कुछ पता नहीं चल सका है, जबकि पंद्रह दिन से आरपीएफ अधिकारी सभी को एक ही रटारटाया जबाव दे रहे है कि मामले की जांच चल रही है, जैसे कुछ पता चलेगा, मामले का खुलासा किया जाएगा। ऐसे में आशंका जताई जा रही है कि बड़े स्तर पर हुई इस चोरी में संलिप्त लोगों को रेलवे अधिकारी बचाने में जुटे हुए है।
बताते चले कि बीती 11 अगस्त की शाम को रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 7 की तरफ यार्ड की लाइन नंबर 14 में खड़े इंजन में डीजल भरने की मंजूरी ली गई थी,लेकिन रेलवे अधिकारियों व सुरक्षा कर्मचारियों की मिलीभगत से किसी अज्ञात लोगों ने डीजल इंजन में भरने की बजाएं कैनियों में भरकर चोरी कर लिया गया। चोरी का खुलासा उस समय हुआ, जब रेलवे लाइन नंबर 9 पर खड़े ड्राइवर की इस पर नजर पड़ी। उसने तुरंत इसकी सूचना स्टेशन प्रबंधकों व सुरक्षा कर्मियों को दी। घटनास्थल पर पहुंचे आरपीएफ अधिकारियों ने मौके से 40-40 लीटर की डीजल से भरी कैनियां बरामद की, लेकिन तेल चोरी करने वाले व्यक्ति पहले से ही फरार हो गए थे। चोरी के इस मामले को पहले रेलवे अधिकारियों व सुरक्षा कर्मियों ने दबाने का प्रयास किया, लेकिन चोरी की जानकारी आरपीएफ की क्राइम इंटेलीजेंस ब्रांच के अधिकारियों के पास पहुंची, तो उन्होंने भी अपने स्तर पर इसकी जांच-पड़ताल की, लेकिन इन्हें भी कुछ खास हाथ नहीं लगा।